लाखों उपभोक्ताओं को डिपुओं से नहीं मिल रहा राशन, जानिए क्यों

punjabkesari.in Thursday, Jul 06, 2017 - 03:11 PM (IST)

सोलन: हिमाचल में आम आदमी की थाली पर जी.एस.टी. की मार पड़नी शुरू हो गई है। इसके लागू होने के बाद से राज्य के करीब 70 लाख उपभोक्ताओं को डिपुओं से जुलाई माह का राशन नहीं मिल रहा है। इसके कारण करीब 16 लाख राशन कार्ड धारकों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। राज्य नागरिक एवं आपूर्ति निगम ने डिपुओं की राशन आपूर्ति पर फिलहाल रोक लगा दी है।  


जी.एस.टी. के माफिक अपडेट नहीं हुआ सिस्टम
निगम का कम्प्यूटरीकृत सिस्टम जी.एस.टी. के माफिक अपडेट नहीं हुआ है। इसके कारण बिलों में जी.एस.टी. चार्ज नहीं हो रहा है। इसके बिना डिपुओं को राशन की आपूर्ति नहीं की जा सकती। यही कारण है कि निगम ने सरकार से जी.एस.टी. मैनुअल चार्ज करने की अनुमति मांगी है। विदित रहे कि पूरे देश में पहली जुलाई से जी.एस.टी. लागू हो गया है। सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत राशन डिपुओं में मिलने वाली कई वस्तुएं जैसे चीनी, रिफाइंड व तेल भी जी.एस.टी. के दायरे में आ गया है।


राशन नहीं रोक सकते डिपोधारक
वहीं प्रदेशभर में सभी डिपोधारकों को भी अब जी.एस.टी. कानून के तहत पंजीकरण करवाना होगा। डिपोधारकों को वस्तु एवं सेवा कर (जी.एस.टी.) के तहत पंजीकरण करवाने के लिए विभाग ने निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही डिपोधारकों को हर माह बिक्री आधारित रिटर्न भी भरनी होगी। जो डिपोधारक जी.एस.टी. के तहत पंजीकरण नहीं करेंगे, उन्हें इनपुट टैक्स क्रैडिट का लाभ नहीं मिलेगा। हिमाचल प्रदेश नागरिक आपूर्ति निगम के कम्प्यूटर डाटा बेस में भी जी.एस.टी. कानून के प्रावधानों के अनुसार अपडेट कर दिया गया है। खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव तरुण कपूर ने बताया कि कोई भी डिपोधारक उपभोक्ता का राशन नहीं रोक सकता है। सभी को राशन का कोटा जारी करने के आदेश जारी किए गए हैं। 


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