मासूम अपनी जिंदगी के साथ खेलते हैं मौत का खेल, मां-बाप की भी अटकी सांसे

punjabkesari.in Thursday, Jan 23, 2020 - 03:38 PM (IST)

करसोग(धर्मवीर):हिमाचल प्रदेश के करसोग में 35 बच्चें रोजाना दिन में दो बार अपनी जान के साथ खेल रहे। दरअसल हम बात कर रहे है परलोग पंचायत तहसिल करसोग के 35 बच्चों की। देश का भविष्य कहलाए जाने वाले बच्चे कुछ बनने के लिए हर रोज अपने गांव से शिमला जिला के अंतर्गत आने वाले पंदोआ गांव में पढ़ने के लिए जाते हैं। जिनकों स्कूल जाने के लिए नदी पार करनी पड़ती है।
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परलोग वासियों को नदि पार करने के लिए एक झूले का इस्तेमाल करना पड़ता है जो कि बहुत पुराना है। बच्चे भी इसी झूले से हर रोज नदी पार करते हैं। हर समय हादसे की आशंका बनी रहती है। बच्चों के मां-बाप हर रोज इसी चिंता में रहते हैं कि हमारे बच्चो स्कूल से सुरक्षित लौट पाएंगे या नहीं। हर समय मां-बाप के दिमाग में दुर्घटना की आशंका घर करे रहती है। ग्रामिण इस मामले पर कई बार सोशल मिडिया पर विडियो वायरल कर मुद्दा उठा चुके हैं।
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वीरभद्र ने की थी दो करोड़ की घोषणा
नदी पर पुल बनाने के लिए तत्कालिन मुख्यमंत्री और शिमला ग्रामीण के विधयाक रहे वीरभद्र ने दो करोड़ रुपए की घोषणा की थी। लेकिन पुल का निर्माण नहीं हो पाया। ग्रामीणों को शक है कि हमारे गांव का पुल राजनीतिक की भेट चढ़ गया है। सरकार बदलने के बाद इस पुल की घोषणा पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है। बच्चे तो बच्चे हैं इन पर राजनीति शोभा नहीं देती। बच्चें के अलावा पंचायत के सैकड़ों लोग भी इस एक मात्र झुले पर निर्भर है। कैसे न कैसे खुद तो पार कर लेते हैं। लेकिन जब बात बच्चों की आती है तो ग्रामीण डर से सहम जाते हैं। जब घर की जरुरतों के लिए अधिक सामान लाना पड़ता है तो वह भी इस झूले के सहारे पार नहीं हो पाता। कई किलोमीटर का चक्कर काट अधिक पैसे खर्च कर गाड़ी करनी पड़ती है।

 

गांव के प्रधान तिलक भाई ने बताया कि बेलू ढांग से पंदाओ सतलूज नदी पर जो झूला है उसको जान जोखिम में डाल कर बच्चों को पार करना पड़ता है। इसके लिए मुख्यमंत्री वीरभद्र जी ने 9 जून 2015 को 2 करोड़ की घोषणा की थी। हम सरकार से मांग करते हैं कि जल्द से जल्द इस पर कर्रवाई की जाए ताकि बच्चों की जान बचाई जा सके। गांव के नौजवान रविकांत ने सरकार से विनम्र प्रार्थना करते हुए कहा कि इस गांव के छोटे-छोटे मासूम बच्चे ही नहीं गांव के बीमार, बुजर्गों, गर्भवति महिलाओं को भी बहुत सारी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। सरकार को चाहिए कि वह जितना जल्दी हो सके यहां पर झूले को हटा कर पुल का निर्माण करे। सुन्नी पीडब्लूडी एसडीओ जितेंद्र दत ने मामले का संज्ञान लेते हुए कहा कि हम जल्द ही इसके इसंपेक्शन के आदेश देंगे और मुरम्मत की जरूरत हुई तो जल्द ही मुरम्मत करवा दी जाएगी।


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kirti

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