शातिरों के झांसे में आया डॉक्टर, गिफ्ट के लालच में गंवाए 2 लाख रुपए

punjabkesari.in Saturday, Dec 12, 2020 - 04:31 PM (IST)

शिमला (जस्टा): राजधानी में लोग ठगी का शिकार होने से बाज नहीं आ रहे हैं। पुलिस द्वारा बार-बार जागरूक करने के बाद भी लोग लालच में आकर लाखों रुपए गवां रहे हैं। ऐसा ही मामला सदर थाना शिमला में सामने आया है। यहां एक डॉक्टर को गिफ्ट का लालच देकर शातिर ने 2 लाख से अधिक रुपए की ठगी की है। जिस डॉक्टर से ठगी की गई है उसका शिमला में एक निजी क्लीनिक है। डॉक्टर ने पुलिस को शिकायत दी है कि एक अज्ञात शख्स ने फोन कर उन्हें बताया कि वह अमेजन कंपनी का प्रतिनिधि बोल रहा है और ऑनलाइन शॉपिंग करने पर कंपनी की तरफ से नि:शुल्क गिफ्ट दिया जाएगा। गिफ्ट हासिल करने के लिए उन्हें पहले 9,772 रुपए का भुगतान करना होगा तथा गिफ्ट मिलने पर यह रकम रिफंडेबल हो जाएगी। ठगी करने वाले शातिरों ने अलग-अलग नंबरों से फोन किया और उनके झांसे में आकर शिकायतकर्ता ने उनके द्वारा बताए गए खाते में 2 बार यह रकम पेटीएम के जरिए ऑनलाइन ट्रांसफर कर दी। इसके बाद शिकायतकर्ता के मोबाइल पर ओटीपी आया। शातिरों ने शिकायतकर्ता को झांसे में लेते हुए कहा कि इस रकम को रिफंड करने के लिए वह ओटीपी नंबर उन्हें बतला दें।

ओटीपी सांझा करते ही खाते से निकाल लिए रुपए 

शिकायतकर्ता ने जैसे ही ओटीपी को ठगों के साथ सांझा किया तो उसके बैंक खाते में 68,894, 80,012 और 48,996 रुपए की निकासी हुई। इस तरह उनके खाते से करीब 1.97 लाख रुपए निकल गए। इस तरह ठगों ने डॉक्टर को करीब 2 लाख रुपए से अधिक की चपत लगा दी। खाते से यह रकम निकलने के बाद डॉक्टर को ठगी का अहसास हुआ और उन्होंने सदर थाना शिमला में मामले की शिकायत की। पुलिस ने अज्ञात लोगों के विरूद्ध आईपीसी की धाराओं 420 व 120बी के तहत मामला दर्ज कर लिया है और शातिरों का पता लगाने के लिए आगामी जांच शुरू कर दी है। पुलिस का दावा है कि जल्द ही शातिरों का पता लगाया जाएगा।

लोग इन चीजों का रखें ध्यान

- कभी भी अपनी पर्सनल इंफॉर्मेशन जैसे अकाऊंट नंबर, कार्ड नंबर, सीसीवी नंबर, वन टाइम पासवर्ड, एक्सपाइरी डेट किसी से भी शेयर न करें।
- यह बेहतर ढंग से जान लें कि कोई भी बैंकिंग या फाइनांशियल संस्थान मेल या फोन से अकाऊंट इंफॉर्मेशन नहीं मांगती।
- मोबाइल कंपनी 20 डिजिट का नंबर नहीं मांगती। 
- आपके एटीएम कार्ड पर मौजूद सीसीवी नंबर को मिटा दें, उसे याद रखें। ये नंबर ऑनलाइन बैंकिंग या ई-कॉमर्स एक्टिविटी में काम आता है।
- कई लोग ज्यादा एटीएम क्रैैडिट कार्ड रखना स्टेटस सिंबल मानते हैं और उनके पिन नंबर याद रखने के लिए उसे कार्ड पर ही लिख लेते हैं। एटीएम खोने की स्थिति में यह बहुत हानिकारक साबित हो सकता है।
- क्रैडिट कार्ड या एटीएम पर स्थित वाइट स्ट्रीप पर अपने साइन जरूर करें। किसी भी स्थिति में वैंडर को सीधे अपना कार्ड न दें। स्वयं साथ जाएं और अपना ट्रांजैक्शन पूरा करें।
- साइबर कैफे में यदि आप किसी जॉब या एग्जाम के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करवाने जा रहे हैं, तो फार्म खुद भरें। अमूमन यूथ ऐसा नहीं करते। इससे धोखाधड़ी हो सकती है। साइबर कैफे ऑनर से बैंकिंग इंफारर्मेशन सांझा न करें।
-अगर आपको कोई कोई बड़ा गिफ्ट या सोने जितने का ऑफर दिया जाता है और पहले कुछ पैसे जमा करवाने लिए कहा जाता है तो ऐसा कभी भी न करें।

शातिरों का जल्द लगाया जाएगा पता : एसपी

एसपी शिमला मोहित चावला ने बताया कि यह मामला पुलिस के ध्यान में आया है। पुलिस ने सदर थाना के तहत मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है। जल्द ही शातिरों का पता लगाया जाएगा। पुलिस बार-बार लोगों से आग्रह कर रही है कि किसी भी अज्ञातों को ओटीपी व बैंक से संबंधित कोई डिटेल न बताएं। अगर लोगों को बार-बार अज्ञातों द्वारा गिफ्ट जैसी चीजों के लिए उकसाया जाता है तो पहले पुलिस से जरूर संपर्क करें। लोग इस तरह से किसी के बहकाव में न आएं।


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Vijay

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