शिमला, धर्मशाला व मनाली में बनेंगे Rope Way, सरकार ने 2800 करोड़ का Project केंद्र को भेजा
punjabkesari.in Tuesday, Sep 17, 2019 - 09:54 PM (IST)

शिमला: प्रदेश के 3 प्रमुख व्यस्ततम शहरों शिमला, धर्मशाला और मनाली में रोप-वे बनाने के लिए 2800 करोड़ रुपए का प्रोजैक्ट तैयार किया गया है। इस प्रोजैक्ट को तैयार करने के बाद स्वीकृति के लिए केंद्र सरकार को भेजा गया है। यह प्रोजैक्ट इन तीनों शहरों यातायात की समस्या को ध्यान में रखकर तैयार किया गया है। जानकारी के अनुसार इस प्रोजैक्ट को आस्ट्रिया के बोलीविया की तर्ज पर तैयार किया गया है। इसे प्रदेश सरकार की नोडल एजैंसी रोप-वे एंड रैपिड ट्रांसपोर्ट डिवैल्पमैंट कार्पोरेशन की तरफ से तैयार किया गया है।
शिमला शहर में प्रोजैक्ट के तहत 1200 करोड़ रुपए खर्च किए जाने प्रस्तावित हैं। इसके तहत शिमला शहर के सर्कुलर रोड पर सभी प्रमुख स्थानों को एकीकृत केबल कार लाइन बनाए जाने की योजना है। इसका अध्ययन करने के लिए पहले उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने आस्ट्रिया के बोलीविया और स्विट्जरलैंड का दौरा किया था। इस प्रतिनिधिमंडल में प्रधान सचिव लोक निर्माण विभाग एवं परिवहन जगदीश शर्मा, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव संजय कुंडू और प्रबंध निदेशक आर.आर.टी.डी.सी. अजय शर्मा शामिल थे। शिमला सर्कुलर रोड की कुल लम्बाई 17 किलोमीटर है और इसमें करीब 61 जंक्शन (स्टॉपेज) हैं। इसे रोप-वे प्रोजैक्ट के तहत सरकार उन्हें आधुनिक बनाने और केबल कारों के साथ जोड़ने की योजना है।
उल्लेखनीय है कि प्रदेश के इन 3 प्रमुख पर्यटन स्थलों शिमला, धर्मशाला और मनाली में सड़कों पर ट्रैफिक जाम लगना आम बात है। विशेषकर सप्ताह के अंत में यहां पर जब पर्यटक अधिक संख्या में घूमने के लिए निकलते हैं। इस दौरान शिमला और मनाली में औसतन करीब 10,000 वाहन प्रवेश करते हैं। इस कारण परवाणु से शिमला और जालंधर से मनाली को जोडऩे वाली मुख्य सड़कों में ट्रैफि क जाम की समस्या सामने आती है। इसके अलावा वाहनों के पार्किंग की सबसे बड़ी समस्या शिमला में सामने आती है क्योंकि शहर में वाहनों वर्ष 2005 में वाहनों की जो संख्या 32,228 थी, वह वर्ष 2018 में बढ़कर 77,945 हो गई है। शिमला शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में ही करीब 1.65 लाख वाहन पंजीकृत हैं। पिछले दशक में शिमला शहरी क्षेत्र में 10,000 से अधिक वाहन पंजीकृत थे।