Himachal: सरकार के खिलाफ गरजे पैंशनर्ज...एक हफ्ते का दिया अल्टीमेटम, मांगें नहीं मानीं तो सचिवालय के साथ मंत्रियों का होगा घेराव
punjabkesari.in Friday, Oct 17, 2025 - 05:48 PM (IST)

शिमला (राक्टा): हिमाचल पैंशनर्ज संघर्ष समिति ने शुक्रवार को प्रदेशभर में अपनी लंबित मांगों को लेकर धरने-प्रदर्शन आयोजित किए। इस दौरान जिला अधिकारियों के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी भेजे गए। शिमला में जिला पैंशनर्ज संघर्ष समिति ने डीसी कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया। इस मौके पर समिति के राज्य महासचिव भूपराम वर्मा ने कहा कि प्रदेश की कांग्रेस सरकार आगामी दिसम्बर माह में 3 वर्ष का कार्यकाल पूरा कर लेगी, लेकिन पैंशनर्ज की मांगों का समाधान अभी तक नहीं हुआ है, ऐसे में उम्र के अखिरी पड़ाव में पैंशनर्ज को अपने हितों की लड़ाई लड़ने के सड़कों पर उतरने के लिए मजबूर होना पड़ा है। उन्होंने कहा कि सरकार ने 1 जनवरी, 2016 और 31 जनवरी, 2021 के बीच रिटायर हुए पैंशनर्ज को संशोधित कम्युटेशन, लीव इन्कैशमैंट व ग्रैच्युटी सहित अन्य वित्तीय लाभों की अदायगी नहीं की गई है। इसी तरह 16 प्रतिशत महंगाई भत्ता देय है। चिकित्सा बिलों का भुगतान भी नहीं हो रहा है, जिससे पैंशनर्ज में सरकार के प्रति भारी रोष बढ़ता जा रहा है।
मुख्यमंत्री की 3 फीसदी डीए की घोषणा अधूरी
भूप राम वर्मा ने कहा कि मुख्यमंत्री ने बीते दिन 3 फीसदी डीए देने की घोषणा की, जोकि अधूरी घोषणा है। उन्होंने कहा कि 1 जुलाई, 2023 को भारत सरकार ने 4 फीसदी डीए जारी किया था। डीए और एरियर प्रदेश के कर्मचारियों और पैंशनर्ज का हक है, सरकार इसमें मनमानी नहीं कर सकती। उन्होंने कहा कि यदि सरकार समिति द्वारा सौंपे गए 16 सूत्रीय मांग पत्र को लेकर एक सप्ताह के भीतर स्थिति स्पष्ट नहीं करती है तो 24 या 25 अक्तूबर को राज्य कमेटी की बैठक में आगामी रणनीति तैयार की जाएगी, जिसके तहत आगामी नवम्बर माह में पहले सप्ताह में प्रदेश स्तरीय जन जागरूकता अभियान चलाया जाएगा और पैंशनर्ज अपने हितों के लिए सचिवालय और मंत्रियों का घेराव करने से भी पीछे नहीं हटेंगे, जिसकी पूरी जिम्मेदारी सरकार की होगी।
कट क्या पैंशनर्ज के लिए?
भूप राम वर्मा ने कहा कि एक तरफ सरकार आपदा का हवाला देती है और दूसरी तरफ माननीयों के वेतन और भत्तों में बढ़ौतरी कर देती है। उन्होंने पूछा कि ऐसे में कट केवल क्या पैंशनर्ज के लिए है? उन्होंने कहा कि सरकार ने सभी कर्मचारियों को ओपीएस देने का वायदा किया था, लेकिन निगम व बोर्ड कर्मियों को अभी इसके दायरे में नहीं लाया गया है।
ब्यूरोक्रेसी भी कैसे काम करेगी
भूप राम वर्मा ने कहा कि जब स्थायी मुख्य सचिव ही सरकार के पास नहीं है तो समझा जा सकता कि ब्यूरोक्रेसी भी कैसे काम करेंगे। उन्होंने एक सवाल के जवाब में कहा कि प्रदेश के पैंशनर्ज एकजुट हैं और जो दूसरा ग्रुप है, वह सरकारी गुट और स्वयंभू नेता है।
नारेबाजी के साथ रोष रैली निकाली
इस मौके पर सीटीओ कार्यालय से लेकर लोअर बाजार तक रोष रैली भी निकाली गई। धरने-प्रदर्शन में जिला शिमला के 13 ब्लॉक और शिमला तथा रामपुर सिटी की यूनिट के पदाधिकारियों व सदस्यों ने बढ़-चढ़कर भाग लिया। इस दौरान सरकार के खिलाफ नारेबाजी भी की गई।