सरकार महामारी में तबाह हो चुकी मिडिल क्लास को भी दे कोई रियायत व राहत : अभिषेक
punjabkesari.in Wednesday, May 13, 2020 - 02:08 PM (IST)
हमीरपुर : प्रदेश कांग्रेस सोशल मीडिया के चेयरमैन अभिषेक राणा ने मिडल क्लास तबके की पैरवी करते हुए कहा कि देश और प्रदेश को सबसे बड़ा आर्थिक आधार देने वाला मिडल क्लास तबका कोविड-19 महामारी के दौर में पूरी तरह तबाह हो चुका है। जिसका सबसे खराब असर प्राइवेट सेक्टर में नौकरी करने वाले या अपना छोटा कारोबार करने वाले पर पड़ा है। क्योंकि नौकरी वाले की नौकरी छूट गई है और दुकान वाले की दुकानदारी बंद हो गई है। चाय, ढाबे, मिठाई वाले सब बंद हैं। कोरोना के दौर में जहां गरीब की सहायता के लिए सरकार आगे आ रही है, वहीं अमीर को भी सरकार काफी राहतें, सौगातें देने का प्रयास कर रही हैं, लेकिन मिडल क्लास तबका इस दौर में खुद को अनाथ व असहाय मान रहा है। क्योंकि मिडल क्लास तबके की पूछ-पहचान करने वाला कोई नहीं है।
उन्होंने कहा कि मिडल क्लास तबका जो सरकार के राजस्व की रीड़ कही जा सकती है इसके लिए अभी तक सरकार कोई राहत की बात नहीं कर पाई है। उल्टा अब 40 हजार पगार लेने वाले का सस्ता राशन पानी बंद करने की तैयारी चल रही है। ऐसे में प्रदेश की मिडल क्लास अपने आप को ठगा सा महसूस कर रही है। क्योंकि तबाह हो चुके इस वर्ग को कोई राहत, रियायत देने की बजाय सरकार इनके कर्जे की किश्तें बकाया, जीएसटी व अन्य टैक्सों को उगाहने के लिए मनोवैज्ञानिक दबाव बनाने लगी है। उन्होंने कहा कि महामारी के दौर में तबाह हो चुके मिडल क्लास सेक्टर की बिजली, पानी की किश्तें सरकार जून 2021 तक माफ करे। ताकि हजारों, लाखों व करोड़ों का टैक्स भरने वाले इस वर्ग जिसमें छोटे दुकानदार व कर्मचारी, पैंशनर्ज आदि कई लोग हैं उनको एहसास हो सके कि उनकी भी कोई सरकार है जो गरीबों और अमीरों से हट कर उनकी भी सुनती है। उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार की तर्ज पर हिमाचल की जनता के बिजली पानी के बिल सरकार माफ करे। क्योंकि पानी पहाड़ का, बिजली पहाड़ की तो फिर रियायत और राहत से मिडल क्लास ही क्यों वंचित रहे?