चंडीगढ़ में हिमाचल की बसें काऊंटर पर खड़ी करने को लेकर हंगामा, कर्मचारियों से हुई धक्का-मुक्की
punjabkesari.in Friday, Sep 05, 2025 - 11:46 AM (IST)

शिमला (राजेश): सीटीयू एवं एचआरटीसी के बीच चंडीगढ़ में विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। वीरवार को चंडीगढ़ सैक्टर 43 आईएसबीटी में एचआरटीसी बसों के काऊंटर पर खड़े करने को लेकर सीटीयू पदाधिकारियों ने विवाद कर दिया है और एचआरटीसी की बसें काऊंटर पर नहीं लगने दीं। ऐसे में निगम कर्मचारियों व सीटीयू पदाधिकारियों के बीच विवाद भी पैदा हो गया और इस दौरान सीटीयू पदाधिकारियों ने निगम चालक-परिचालक के साथ धक्का-मुक्की भी की, जिसकी वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गई।
जानकारी के अनुसार चंडीगढ़ सैक्टर 43 बस स्टैंड में सीटीयू बस अड्डा प्रभारी ने एचआरटीसी की बसों को काऊंटर पर नहीं लगाने दिया। यह पहली बार नहीं है कि चंडीगढ़ में निगम के कर्मचारियों को इस तरह परेशान किया गया हो, इससे पहले भी इस तरह की घटनाएं सामने आती रही हैं। वीरवार को यह विवाद अधिक बढ़ गया और यहां तक इस विवाद के बीच निगम कर्मचारी का मोबाइल भी टूट गया। निगम चालक-परिचालकों का कहना है कि निगम के चालक-परिचालकों से चंडीगढ़ में सौतेला व्यवहार किया जाता है। कर्मचारियों का कहना है कि चंडीगढ़ में निगम की बसों को लेकर हो रहे लगातार विवाद को लेकर हिमाचल सरकार को चंडीगढ़ प्रशासन एवं सीटीयू पदाधिकारियों से बात करनी चाहिए।
नहीं थमता है विवाद तो मोहाली बस अड्डे से चलानी चाहिए हिमाचल को बसें
चंडीगढ़ में हुए विवाद को लेकर चालक-परिचालकों ने कहा कि यदि यह विवाद नहीं थमता है तो एचआरटीसी को अपनी बसें मोहाली स्थित बस अड्डे से चलानी चाहिए। निगम की लगभग 250 बसें चंडीगढ़ बस अड्डे में जाती हैं जिनकी अड्डा फीस महीने में लाखों रुपए दी जाती है और सुविधाएं न के बराबर हैं।
चंडीगढ़ में हिमाचलियों की संख्या अधिक
चंडीगढ़ में हिमाचलियों की संख्या अधिक है। हिमाचल के हजारों लोगों के बच्चे चंडीगढ़ में शिक्षा ग्रहण करते हैं। हजारों लोग नौकरी भी करते हैं। ऐसे चालक-परिचालकों का कहना है कि हिमाचल सरकार को इसमें हस्तक्षेप जरूर करना चाहिए। बातचीत करके इसे जल्दी सुलझाया जाना चाहिए जिससे वहां पर कार्य कर रहे कर्मचारियों की भी सुरक्षा रहे।
क्या कहते हैं एचआरटीसी के अधिकारी
एचआरटीसी शिमला के डीएम देवासेन नेगी ने कहा कि हिमाचल में भारी बारिश के चलते चंडीगढ़ के लिए भेजी जा रही बसें कई बार देरी से काऊंटर पहुंच रही हैं। इसके चलते चंडीगढ़ में चालक-परिचालक व सीटीयू प्रबंधन के बीच विवाद पैदा हुआ था, लेकिन संबंधित आरएम के दिशा-निर्देश के बाद मामला सुलझा लिया गया था।