बहादुरपुर बना नैना देवी के लिए मास्टरप्लान की मिसाल

punjabkesari.in Sunday, Dec 25, 2016 - 04:12 PM (IST)

घुमारवीं: बहादुरपुर नामक एक पहाड़ी की चोटी पर बना यह किला 1980 मीटर की ऊंचाई पर है। इसे जिले को सबसे ऊंचा प्‍वाइंट माना जाता है। परगना बहादुरपुर के तेपरा गांव के निकट बना यह किला बिलासपुर से 40 किमी. दूर है। देवदार और बान के सुंदर जंगलों ने इस स्‍थान को चारों तरफ से घेर रखा है। इस किले से फतेहपुर, नैना देवी की पहाडी़, रोपड़ के मैदान और शिमला की पर्वत श्रृंखलाएं देखी जा सकती हैं। यह किला 1835 में बनवाया गया था जो अब काफी क्षतिग्रस्‍‍त हो चुका है। अब बहादुरपुर की तर्ज पर नैना देवी विस हलके के क्षेत्र में भी ईको सर्किट विकसित करने की योजना पर वन विभाग विचार कर रहा है।


जंगल के रिज एरिया में तैयार करेगा ईको टूरिज्म सर्किट 
महकमा मंदिर के आसपास पड़ने वाले जंगल के रिज एरिया में इस ईको टूरिज्म सर्किट को तैयार करेगा। इस मामले में वन विभाग की ओर से एक प्रस्ताव तैयार कर लिया गया है जिसे जल्द ही राज्य सरकार से वित्तीय स्वीकृति के लिए भेज दिया जाएगा। यह जानकारी आज डी.एफ.ओ. सी.बी. ताशीलदार ने दी। उन्होंने बताया कि नैना देवी विस हलके के बहादुरपुर की कुदरती खूबसूरती किसी से छिपी नहीं है, यदि इस क्षेत्र में पर्यटन की दृष्टि से सुविधाएं विकसित हो जाएं तो निश्चित तौर पर पर्यटन मानचित्र पर इसे उभारकर साल भर में पर्यटकों के आने-जाने का प्रमुख केंद्र बनाया जा सकता है।


बहादुरपुर की तर्ज पर पर्यटन एवं मनोरंजन का होगा निर्माण 
उन्होंने बताया कि बहादुरपुर के लिए वन विभाग पहले ही एक प्रोजैक्ट तैयार करके राज्य सरकार को वित्तीय स्वीकृति के लिए भेज चुका है। हालांकि इसकी मंजूरी अभी आनी बाकी है लेकिन इसके बाद अब महकमे ने नयनादेवी मंदिर से महकमे के रैस्ट हाऊस को जाने वाले जंगल के क्षेत्रों में पड़ने वाले रिज एरिया में पर्यटन की दृष्टि से सुविधाएं विकसित करने का निर्णय लिया है। यहां भी बहादुरपुर की तर्ज पर साहसिक पर्यटन एवं मनोरंजन के लिए हट्स आदि का भी निर्माण होगा। 


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