फर्जी डिग्री मामला : SFI ने निजी शिक्षण संस्थान नियामक आयोग का घेराव कर किया प्रदर्शन

Wednesday, Feb 26, 2020 - 09:25 PM (IST)

शिमला (तिलक राज): हिमाचल प्रदेश में स्थापित 2 निजी विश्वविद्यालयों की फर्जी डिग्रियां बांटने के खिलाफ बुधवार को एसएफआई ने शिमला में निजी शिक्षण संस्थान नियामक आयोग के कार्यालय के बाहर प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के दौरान एसएफआई कार्यकर्ताओं ने जमकर नारेबाजी की। इस बीच एसएफआई पदाधिकारियों ने नियामक आयोग के सदस्यों को ज्ञापन सौंपा और मांग की कि इस मामले को लेकर जल्द उचित कार्रवाई अमल मेें लाई जाए।

एसएफआई पदाधिकारियों ने प्रदर्शन के दौरान कहा कि पूरे देश व प्रदेश के सरकारी संरक्षण में निजी शिक्षण संस्थान शिक्षा को बाजार की वस्तु बनाने में तत्पर हैं। हाल ही में एपीजी और एमबीयू में लगभग 5 लाख फर्जी डिग्रियों का मामला जब संज्ञान में आया है जो निजी उच्च शिक्षा नियामक आयोग की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान खड़ा करता है।

2011 से नियामक आयोग की जिम्मेदारी है कि निजी शिक्षण संस्थानों में किसी भी नियमो का उल्लंघन हो रहा है तो उसके खिलाफ कार्यवाही करके दंडित करे लेकिन हैरानी की बात तो यह है कि नियामक आयोग ने पिछले 7 वर्षों में किसी भी निजी संस्थान का निरीक्षण नहीं किया है। यह पूरा काम राज्य सरकार के संरक्षण में हो रहा है क्योंकि सरकारें शिक्षा के प्रति संजीदा ही नहीं हैं। प्रदेश का एकमात्र सरकारी विश्वविद्यालय हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय है जिसे भी लगातार प्रदेश सरकार खत्म करने की कोशिश कर रही है। पिछले लम्बे समय से निजी शिक्षण संस्थानों में फर्जी डिग्रियों का गोरखधंधा चल रहा था लेकिन हिमाचल प्रदेश निजी शैक्षणिक संस्थान नियामक आयोग इस बात से अनभिज्ञ था।

एसएफआई के राज्य सचिव अमित ठाकुर ने कहा कि एसएफआई मांग करती है कि इस मामले की न्यायिक जांच करवाई जाए तथा दोषियों को कड़ी सजा दी जाए। उन्होंने कहा कि संगठन की मांग है कि नियामक आयोग निजी उच्च शिक्षा संस्थानों का समय-समय पर निरीक्षण करे। उन्होंने कहा कि एसएफआई चेतावनी देती है कि यदि फर्जी डिग्री मामले को लेकर जल्द उचित कार्रवाई न की गई तो प्रदेशव्यापी आंदोलन किया जाएगा, जिसकी सारी जिम्मेदारी सरकार की होगी।

Vijay