हिमाचल में रेप के आंकड़े जान चौंक जाएंगे आप, 10 माह में टूटा 10 वर्षों का रिकॉर्ड

Sunday, Dec 09, 2018 - 10:46 PM (IST)

शिमला (राक्टा): राज्य में बलात्कार व छेड़छाड़ जैसे अपराधों में वृद्धि हुई है। चालू वर्ष में 10 माह के भीतर ही यहां दुष्कर्म के 292 केस दर्ज किए जा चुके हैं जोकि बीते 10 वर्षों की तुलना सबसे अधिक है। पुलिस में दर्ज आंकड़ों का आकलन करेें तो वर्ष 2008 में यहां बलात्कार के 157 मामले दर्ज हुए थे। वर्ष 2009 में यह आंकड़ा बढ़कर 182 पहुंच गया। इसके बाद वर्ष 2010 और वर्ष 2011 में यह आंकड़ा क्रमश: 160 व 168 रहा। वर्ष 2012 में 183 केस पंजीकृत हुए। इसके बाद 2013 में यह आंकड़ा 250 तक पहुंच गया। वर्ष 2014 में 284 केस दर्ज हुए। वर्ष 2015 और 2016 में 244-244 केस दर्ज हुए। 2017 में 249 केस विभिन्न पुलिस स्टेशनों में दर्ज हुए जबकि चालू वर्ष के 8 माह में यह आंकड़ा सभी रिकॉर्ड तोड़ते हुए 292 तक पहुंच गया।

10 माह में छेड़छाड़ के 458 केस दर्ज

देवभूमि में महिला अपराध से जुड़े मामलों का बढऩा चिंतनीय विषय है। चालू वर्ष में 10 माह (अक्तूबर तक) छेड़छाड़ के भी यहां 458 केस दर्ज हुए हैं जबकि बीते वर्ष यह आंकड़ा 403 था। इसके साथ ही वर्ष 2016 में छेड़छाड़ के 405 मामले दर्ज हुए। उक्त अवधि में महिलाओं की हत्या के 27 मामले दर्ज हुए हैं।  

एन.डी.पी.एस. केस 11 हजार के पार

प्रदेश में नशा माफिया खासा सक्रिय है। चालू वर्ष के शुुरूआती 10 माह में ही यहां बीते 10 वर्षों की तुलना में एन.डी.पी.एस. के रिकॉर्ड 1131 दर्ज केस दर्ज हुए हैं। आंकड़ों के अनुसार वर्ष 2008 में एन.डी.पी.एस. के 374 केस दर्ज हुए थे। वर्ष 2009 में यह आंकड़ा 473 रहा। वर्ष 2010 में 596, 2011 में 570, 2012 में 513, 2013 में 531, 2014 में 644, 2015 में 622, 2016 में 929 और वर्ष 2017 में 1010 केस दर्ज हुए थे।

गुरु ओं के कारनामे से देवभूमि कलंकित

देवभूमि में शिक्षा के मंदिरों में भी लाडलियों से छेड़छाड़ के मामले सामने आए हैं। कुछ गुरु ओं के ऐसे कारनामों ने शिक्षा के क्षेत्र में अव्वल माने जाने वाले हिमाचल की छवि धूमिल की है।

शीतकालीन सत्र में कांग्रेस बनाएगी मुद्दा

धर्मशाला में शुरू होने वाले विधानसभा के शीतकालीन सत्र में विपक्ष दल कांग्रेस सत्तापक्ष को कानून व्यवस्था के मुद्दे पर घेरने का प्रयास करेगी।  

हैल्पलाइन नंबर किया जारी

महिलाओं को बेहतर कानून व्यवस्था को लेकर सरकार ने प्रभावी कदम उठाए हैं। इसके तहत गुड़िया हैल्पलाइन व शक्ति  बटन सेवा को शुरू किया गया है।  

क्या बोले नेता प्रतिपक्ष

नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्रिहोत्री ने कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था पूरी तरह से चरमा चुकी है और सरकार कानून व्यवस्था की स्थिति सुधारने में नाकाम रही है।     

Vijay