प्री-नर्सरी के नौनिहालों को मिड-डे मील के लिए अलग से बजट नहीं

Tuesday, May 14, 2019 - 10:35 AM (IST)

शिमला (प्रीति): प्री-नर्सरी के नौनिहालों को मिड-डे मील के लिए अलग से बजट नहीं दिया गया है। दिल्ली में हुई पी.ए.बी. की बैठक में एम.एच.आर.डी. ने प्री-नर्सरी कक्षा के नौनिहालों के लिए दोपहर के खाने के लिए अलग से बजट स्वीकृत नहीं किया है। इस दौरान एम.एच.आर.डी. ने शिक्षा विभाग को मिड-डे मील योजना के तहत ही प्री-नर्सरी कक्षाओं के नौनिहालों के लिए यह व्यवस्था करने को कहा है। इस योजना के तहत मिलने वाले बजट में ही स्कूलों को अपने स्तर पर प्री-नर्सरी के नौनिहालों को मिड-डे मील उपलब्ध करवाना होगा। 

गौर हो कि प्रोजैक्ट अप्रूवल बोर्ड की बैठक में प्रारंभिक शिक्षा विभाग ने प्री-नर्सरी के लगभग 25 हजार नौनिहालों को बजट देने की मांग उठाई थी। इस दौरान बैठक में एम.एच.आर.डी. के अधिकारियों ने साफ किया है कि चुनाव के बाद इस मामले पर विचार-विमर्श किया जाएगा। गौर हो कि बीते वर्ष प्रारंभिक शिक्षा विभाग ने 3391 स्कूलों में प्री-नर्सरी कक्षाएं शुरू की थीं। इस समय सरकारी स्कूलों में 25 हजार से भी ज्यादा इनरोलमैंट हुई है। ऐसे में यदि भारत सरकार प्रदेश को अतिरिक्त बजट देती है तो राज्य के और स्कूलों में भी प्री-नर्सरी कक्षा शुरू की जाएगी।

मिड-डे मील को 85 करोड़ का बजट स्वीकृत

जानकारी के अनुसार इस बार एम.एच.आर.डी. ने मिड-डे मील के लिए 85 करोड़ का बजट स्वीकृत किया है। हालांकि प्रारंभिक शिक्षा विभाग ने एम.एच.आर.डी. को इस दफा मिड-डे मील के लिए 120 करोड़ का बजट स्वीकृति के लिए भेजा था। इसमें से एम.एच.आर.डी. ने 85 करोड़ का बजट स्वीकृत किया है। इस दौरान प्री-नर्सरी के लिए कोई बजट नहीं दिया गया है। बताया जा रहा है कि बैठक में एम.एच.आर.डी. के अधिकारियों ने बताया कि 6 साल की आयु से कम छात्र आर.टी.ई. के तहत नहीं आते हैं। ऐसे में इन छात्रों को मिड-डे मील में शामिल करने के लिए भारत सरकार से परमिशन लेनी होगी। यह मामला अब भारत सरकार के समक्ष उठाया जाएगा।

Ekta