जुब्बल कोटखाई के विधायक नरेंद्र बरागटा का पीजीआई चंडीगढ़ में निधन

punjabkesari.in Saturday, Jun 05, 2021 - 10:28 AM (IST)

शिमला : हिमाचल प्रदेश के शिमला जिले के जुब्बल कोटखाई से भाजपा विधायक और प्रदेश विधानसभा में भाजपा के मुख्य सचेतक नरेंद्र बरागटा का निधन हो गया है। वह चंडीगढ़ पीजीआई में उपचाराधीन थे। उनके बेटे चेतन बरागटा ने यह जानकारी दी है। वह बीते 15 दिन से चंडीगढ़ पीजीआई में भर्ती थे और दिल की बीमारी से ग्रसित थे। नरेंद्र बरागटा को 13 अप्रैल 2021 को कोरोना हो गया था। इसके बाद से उनकी सेहत लगातार खराब होती रही और शनिवार सुबह तड़के चार बजे उनका निधन हो गया है। बता दें कि शुक्रवार को ही प्रदेश के सीएम जयराम ठाकुर ने पीजीआई चंडीगढ़ जाकर उनका हाल चाल जाना था। 

नरेंद्र बरागटा के बेटे चेतन ने सोशल मीडिया पर लिखा कि मेरे पिता और हम सभी के प्रिय भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता, पूर्व मंत्री, हिमाचल प्रदेश सरकार में मुख्य सचेतक सम्मानीय नरेन्द्र बरागटा जी स्वास्थ्य से सम्बंधित लम्बे संघर्ष के बाद अपने जीवन की अंतिम लड़ाई हार गए। मेरे परिवार के सदस्यों समान समस्त समर्थकों, कार्यकर्ताओं को बड़े दुःखी मन के साथ यह खबर दे रहा हूँ कि नरेन्द्र बरागटा जी अब हमारे मध्य नहीं रहे. कोविड-19 के चलते तमाम शुभचिंतकों, समर्थकों व कार्यकर्ताओं से निवेदन रहेगा कि धैर्य और संयम बनाएं रखें। भावभीनी एवं अश्रुपूर्ण यह पल हमारे जीवन के सबसे दुःखदायी क्षण आप सभी के साथ साँझा कर रहा हूँ। 

सीएम जयराम ठाकुर ने नरेंद्र बरागटा के निधन पर शोक जताया है। उन्होंने लिखा कि भारतीय जनता पार्टी हिमाचल के वरिष्ठ नेता, पूर्व मंत्री व प्रदेश सरकार में मुख्य सचेतक नरेंद्र बरागटा के निधन का समाचार सुन कर स्तब्ध हूँ। आज हमने एक ईमानदार एवं कर्मठ नेता को खोया है। जुब्बल-कोटखाई एवं हिमाचल भाजपा सहित यह पूरे हिमाचल के लिए अपूरणीय क्षति है। ईश्वर बरागटा की दिवंगत आत्मा को अपने श्रीचरणों में स्थान दें तथा उनके शोकग्रस्त परिवार को इस मुश्किल घड़ी में इस असहनीय दुःख को सहन करने की शक्ति प्रदान करें, ईश्वर से ऐसी प्रार्थना करता हूँ। 

नरेंद्र बरागटा का जन्म 15 सितंबर 1952 को शिमला जिले के जुब्बल-कोटखाई में हुआ था। उन्होंने हिमाचल यूनिवर्सिटी से राजनीतिक विज्ञान में पोस्ट ग्रेजुएशन की थी। उनके दो बेटे हैं। साल 1978-82 तक वह जनता युवा मोर्चा के अध्यक्ष रहे। साल 1993 से 98 तक उन्हें जिला भाजपा का सचिव बनाया गया। इसके अलावा, वह भाजपा राष्ट्रीय किसान मोर्टा के सचिव भी रहे। पहली बार, वह साल 1998 में विधायक बने। इसके बाद दोबारा जुब्बल-कोटखाई से 2007 में विधायक बने। क्योंकि, 2007 में प्रदेश में भाजपा सरकार थी तो उन्हें धूमल सरकार में बागवानी मंत्री बनाया गया। साथ ही उन्हें स्वास्थ्य महकमा भी सौंपा गया। वह तीसरी बार 2017 में भाजपा के विधायक बने। हालांकि, इस बार उन्हें मंत्री नहीं बनाया गया और सरकार ने उन्हें विधानसभा में चीफ व्हिप की जिम्मेदारी सौंपी थी।

कैबिनेट बैठक स्थगित

मुख्य सचेतक नरेंद्र बरागटा के निधन के कारण हिमाचल प्रदेश कैबिनेट की बैठक स्थगित कर दी गई है। यह बैठक आज सुबह 10.30 बजे पीटरहॉफ, शिमला में होनी थी। ये बैठक अब कब होगी इसके बारे में अभी तय नहीं किया गया है। जाहिर है कोरोना कफ्र्यू के बीच आज होने वाली कैबिनेट की बैठक काफी अहम थी, और इसमें कई अहम फैसले होने थे। आज की बैठक में हिमाचल प्रदेश स्कूल शिक्षा बोर्ड की 12 कक्षा की परीक्षा रद्द कर छात्रों को प्रमोट करने का निर्णय लेना था। साथ ही कोरोना कफ्र्यू 15 जून तक बढ़ाने, दुकानें खोलने की छूट 5 बजे तक देने, सरकारी दफ्तरों में 50 फीसदी कर्मचारियों के बुलाने के साथ पब्लिक ट्रासंपोर्ट शुरू करने संबंधी फैसले होने थे। आज की बैठक स्थगित करने के बाद सरकार की ओर से जल्द कैबिनेट बैठक की अगली तिथि तय की जाएगी।
 


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Content Writer

prashant sharma

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