यहां पर आयुर्वेद डाक्टर कर रहे संक्रमित मरीजों की निगरानी

Tuesday, May 11, 2021 - 04:52 PM (IST)

जोगिंद्रनगर (अमिता): उपमंडल जोगिंद्रनगर में कोरोना के कुल 2041 मामले सामने आ चुके हैं जिनमें से 1356 लोग स्वस्थ्य हो चुके हैं और 666 का इलाज चल रहा है जबकि 20 लोगों की संक्रमण से मौत भी हो चुकी है। उपमंडल में कोरोना संक्रमित व्यक्तियों को घर में ही आईसोलेट किया जा रहा है ग्रामीण स्तर पर आशा कार्यकर्ताओं एवं आयुर्वेद विभाग के माध्यम से नियमित निगरानी भी सुनिश्चित की जा रही है। एस.डी.एम. अमित मेहरा ने बताया कि गंभीर रूप से कोविड-19 संक्रमित मरीजों के लिए सिविल अस्पताल जोगिंद्रनगर में विशेष आपातकालीन कक्ष स्थापित किया गया है जिसमें ऑक्सीजन की सुविधा भी उपलब्ध है। इसके अलावा कोविड संक्रमित मरीजों को लाने व ले जाने के लिए 2 एंबुलैंस को पूरी तरह से तैयार कर लिया गया है, जिसमें से एक सिविल अस्पताल जोगिंद्रनगर व दूसरी सिविल अस्पताल लडभड़ोल में तैनात कर दी गई है।
3 टीमें की हैं गठित
वर्तमान समय में जोगिंद्रनगर उपमंडल के अंतर्गत पधर व लडभड़ोल विकास खंडों के लिए 6 आयुर्वेद डाक्टर एवं 6 फॉर्मासिस्ट की 3 टीमें गठित की गई हैं जो अपने-अपने ब्लॉक में कोरोना संक्रमित मरीजों की निगरानी कर रही हैं। साथ ही आयुर्वेद विभाग के डाक्टर नियमित अंतराल के बाद कोरोना संक्रमितों से मोबाइल के माध्यम से संपर्क स्थापित कर रहे हैं तथा स्वास्थ्य को लेकर पूरी जानकारी एकत्रित कर रहे हैं। इस संदर्भ में किसी भी प्रकार की स्वास्थ्य संबंधी दिक्कत पाए जाने पर मामले की जानकारी को उच्च अधिकारियों को प्रेषित किया जा रहा है तथा गंभीर संक्रमित रोगियों को कोविड अस्पतालों में रैफर करने में भी मदद की जा रही है। इसके अतिरिक्त आशा कार्यकत्र्ताओं के माध्यम से हैल्थ किट भी वितरित की जा रही है जिसमें आवश्यक दवाइयां व पल्स ऑक्सीमीटर शामिल हैं।
97 प्रतिशत मरीज घर में ही हो रहे ठीक
अमित मेहरा ने कहा कि कोविड-19 संक्रमित लगभग 97 प्रतिशत मरीज घर में ही रहकर ठीक हो रहे हैं, ऐसे में वे इस बीमारी से घबराएं नहीं बल्कि धैर्य व संयम के साथ इसका मुकाबला करें साथ ही होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों से कोविड प्रोटोकॉल की सख्ती से अनुपालना सुनिश्चित करने का भी आह्वान किया है। मेहरा ने कहा कि यदि कोई गंभीर समस्या उत्पन्न होती है तो इसकी सूचना तुरंत स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को देना सुनिश्चित बनाएं ताकि उन्हें तुरंत चिकित्सीय सहायता उपलब्ध हो सके।

News Editor

Rajneesh Himalian