अर्थव्यवस्था बेहाल, जनता पर पड़ रही केंद्र सरकार की मार : राणा

Tuesday, Sep 03, 2019 - 12:08 PM (IST)

शिमला  (ब्यूरो): विधायक राजेंद्र राणा ने आरोप लगाया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार में देश की अर्थव्यवस्था बेहाल हो गई है। अर्थव्यवस्था के चौपट होने के कारण निजी क्षेत्र में लाखों कर्मचारियों की छंटनी हो रही है तथा व्यापारी आॢथक मंदी की मार झेल रहे हैं। राजेंद्र राणा ने यहां जारी बयान में आरोप लगाया कि केंद्र सरकार देश को आॢथक संकट से उबारने की बजाय यह ढोल पीट रही है कि देश में आॢथक मंदी नहीं है।

उन्होंने कहा कि पिछले 6 सालों के दौरान वर्तमान में जी.डी.पी. दर 5 फीसदी न्यूनतम स्तर तक पहुंच गई है। उन्होंने दावा किया कि केंद्र सरकार आर.बी.आई. के रिजर्व फंड से ही वर्ष, 2015 से 2019 तक की अवधि तक 54 हजार करोड़ रुपए निकाल चुकी है, जबकि वर्ष, 2019-20 में भी 1 लाख 76 हजार करोड़ रुपए लेने की तैयारी कर रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार के वित्तीय कुप्रबंधन के कारण देश की अर्थव्यवस्था चौपट हो रही है।

उन्होंने यह भी दावा किया कि आर.बी.आई. के गवर्नर ने एक कार्यक्रम में देश की अर्थव्यवस्था पर ङ्क्षचता जताई है। उन्होंने आरोप लगाया कि 2 साल पहले लागू की गई नोटबंदी के बाद जी.एस.टी. ने देश की हालत बदतर कर दी है। पूर्व प्रधानमंत्री डा. मनमोहन सिंह ने केंद्र सरकार को चेताया था कि गलत तरीके से नोटबंदी व जी.एस.टी. को लागू करने से देश की अर्थव्यवस्था पर बुरा प्रभाव पड़ेगा, लेकिन उनकी बात पर अमल करने की बजाय उसका मजाक उड़ाया गया। उन्होंने कहा कि कैग की तरफ से भी कहा गया है कि 2 साल बाद भी जी.एस.टी. की खामियां दूर नहीं हो पाई हैं।

उन्होंने आरोप लगाया कि ऐसी स्थिति में व्यापारी खाली बैठे हैं और आटो सैक्टर औंधे मुंह गिर चुका है तथा अब तक साढ़े 3 लाख कर्मचारियों की छंटनी की जा चुकी है। उन्होंने दावा किया कि कपड़ा उद्योग भी ऐसे ही मंदी के दौर से गुजर रहा है तथा बड़ी कार निर्माता कंपनियां भारत में निवेश करने से कतराने लगी हैं। उन्होंने कहा कि कई बहुराष्ट्रीय कंपनियों पर प्रोडक्शन की गहरी मार पड़ी है तथा रेलवे और बी.एस.एन.एल. की हालत बिगड़ रही है।  उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार की कीमत का यह खमियाजा अब देश की जनता को भुगतना पड़ रहा है।

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Simpy Khanna