कोरोना का खौफ: शक्तिपीठों में प्रवेश पर भी लगी रोक (Video)

Tuesday, Mar 17, 2020 - 02:21 PM (IST)

शिमला : विश्व भर में फैले कोरोना वायरस का खौफ लगतार बढ़ता जा रहा है। कोरोना से बचाव का तरीका भी सिर्फ एहतियात ही है। इसी को देखते हुए हिमाचल प्रदेश सरकार ने प्रदेश भर के सभी शक्तिपीठ में श्रद्धालुओं के प्रवेश पर रोक लगा दी है। सरकार के आदेश के अनुसार अगले आदेश तक सभी मंदिरों में प्रवेश बंद रहेंगे। वहीं कुछ मंदिरों में पहले से ही श्रद्धालुओं के प्रवेश पर रोक लगा दी थी। कोरोना वायरस के चलते पूर्व से ही मेले, सार्वजनिक कार्यक्रम आदि पर रोक लगाई जा चुकी है।

बज्रेश्‍वरी मंदिर
कोरोना वायरस का खौफ लोगों की आस्था पर भारी नहीं पड़ा है। एक तरफ कोरोना वायरस के चलते शक्‍तिपीठों को बंद करने के निर्देश जारी कर दिए गए हैं, वहीं मंदिर बंद होने से पहले श्रद्धालुओं का तांता लग गया है। मंगलवार सुबह बज्रेश्‍वरी देवी मंदिर में श्रद्धालुओं की भारी भारी भीड़ जुट गई। भीड़ को देखते हुए मंदिर प्रशासन ने मुख्य गेट को बंद कर दिया। अब बाहर से किसी भी श्रद्धालु को मंदिर के अंदर जाने की अनुमति नहीं है।

ज्‍वालामुखी मंदिर
ज्‍वालामुखी मंदिर में भी सुबह साढ़े दस बजे कपाट बंद कर दिए गए हैं, जो श्रद्धालु परिसर में हैं अब वही दर्शन कर पाएंगे।

बैजनाथ का ऐतिहासिक शिव मंदिर
कोरोना वायरस के कारण एहतियातन शक्तिपीठों को बंद करने के निर्देश के बीच मंगलवार दोपहर बाद से बैजनाथ का ऐतिहासिक शिव मंदिर के साथ क्षेत्र के सभी मंदिरों में महाकाल ,मुकुट नाथ आदि सभी निजी मंदिरो के गेट बंद कर दिए गए है। हालांकि इन मंदिरों बड़ी ज्यादा भीड़ नहीं देखी गई है। फिर भी एतिहात के तौर पर प्रशासन द्वारा सभी मंदिरों के कपाट बंद करने का निर्णय लिया। इसके उपरांत मंदिरों में सन्नाटा छा गया। लेकिन मंदिर में तीन पहरी आरती व श्रंगार पहले की भांति पुजारी करते रहेंगे। इस दौरान भी किसी भी श्रद्धालु को मंदिर के अंदर जाने पर प्रतिबंध रहेगा। मंदिर प्रशासन ने मुख्य गेट को बंद कर दिया। इसके बाद किसी भी श्रद्धालु को मंदिर के अंदर जाने की अनुमति नहीं दी गई। वहीं बैजनाथ में एकमात्र गुरुद्वारे को भी संगत के लिए बंद करवा दिया गया है।

बगलामुखी मंदिर
बगलामुखी मंदिर के कपाट अनिश्चितकाल के लिए बंद कर दिए गए है। जिसकी जानकारी मंदिर अधिकारी पवन बडियाल ने दी। उन्होंने बताया कि ये महत्पूर्ण फैसला विश्व मे फैल रहे करोना बायरस के मध्य नजर रखते हुए लिया गया। उन्होंने बताया कि हिमाचल प्रदेश सरकार के आदेश अनुसार मां बगलामुखी मंदिर में हवन और दर्शन सभी श्रद्धालुओं के लिए बंद कर दिए गए हैं और जब तक सरकार के अगले आदेश नहीं आते तब तक मंदिर में सभी श्रद्धालुओं के आने पर पूर्ण प्रतिबंध है तथा पूजा अर्चना भी नहीं होगी।

चिंतपूर्णी मन्दिर
विश्वविख्यात शक्तिपीठ चिंतपूर्णी में मन्दिर के कपाट बंद कर दिए गए है जिससे मां के दरबार आने वाले श्रदालु माता रानी के दर्शन नहीं कर सकेंगे। हिमाचल सरकार के आदेश पर यह कदम उठाया गया है। सुबह 10 बजे के बाद श्रदालुओं की मन्दिर जाने की एंट्री पर पाबंदी लगा दी गई है। कोरोना वायरस के चलते हिमाचल सरकार को ये कदम उठाना पड़ा है। सोमवार और मंगलवार सुबह पहुंचे श्रद्धालुओं को 10 बजे तक मां चिंतपूर्णी की पवित्र पिंडी के दर्शन करवाए गए जिसके बाद 10 बजते ही मंदिर के कपाट श्रद्धालुओं के लिए बंद कर दिए गए लेकिन मंदिर पुजारियों द्वारा रोजाना की तरह पूजा पाठ जारी रहेगा। श्रदालुओं को वेव स्ट्रीमिंग के जरिए ही वेबसाइट व मोबाइल पर माता रानी की पिंडी के लाइव दर्शन करवाने की सुविधा उपलब्ध करवाई गई है।

चिंतपूर्णी में 25 मार्च से नवरात्रे शुरू हो रहे हैं और नवरात्रों के दौरान भारी संख्या में पंजाब हिमाचल व विदेशो से श्रदालु यंहा पहुंचते हैं ऐसे में कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए ही सरकार ने ये आदेश जारी किए हैं। इसके साथ ही जिला प्रशासन ने हिमाचल के ऊना में स्थित 6 प्रवेश द्वारों को सील कर दिया है जहां से हिमाचल के विभिन्न धार्मिक स्थलों को जाने वाले श्रद्धालुओं को वापिस भेजा जा रहा है। डीसी ऊना संदीप कुमार ने बताया कि कोरोना एक महामारी का रूप ले चुकी है और इसपर नियंत्रण करने के लिए ही प्रदेश सरकार और जिला प्रशासन द्वारा आदेश जारी किए है। वहीं पुजारी बारीदार सभा के सदस्य रविंद्र छिंदा ने कहा कि सरकार ने जो आदेश दिए हैं उनका पालन किया जाएगा। चिंतपूर्णी मन्दिर के कपाट बंद करने के आदेश जारी किए गए हैं। कोरोना वायरस के चलते ऐसा निर्णय लिया गया है। आगामी आदेशों तक चिंतपूर्णी मन्दिर में श्रदालुओं की एंट्री पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा।



 

 

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