बंबर ठाकुर बोले, मुझे विवाद में घसीटकर अपना स्वार्थ साधता है विपक्ष

punjabkesari.in Thursday, Jun 15, 2017 - 09:25 AM (IST)

अक्सर अपनी बेबाक टिप्पणी के लिए मशहूर रहे सदर विधायक बंबर ठाकुर ने विपक्ष द्वारा लगाए जा रहे आरोपों का पूरे विश्वास के साथ जवाब दिया। बंबर ठाकुर ने कहा कि वह छात्र राजनीति से सक्रिय राजनीति में आए हैं। दबंग राजनीति के लिए मशहूर बंबर ठाकुर ने कहा कि वह जनसेवा को अपना उद्देश्य मानते हैं तथा भविष्य में भी वह जनसेवा करते रहेंगे। चाहे विधायक रहें या नहीं। बंबर ठाकुर ने स्पष्ट किया कि उनकी लड़ाई पूंजीपतियों से है तथा वह आम जनमानस को उनका हक दिलवाने के लिए कोई भी कुर्बानी देने के लिए तैयार हैं। सदर विधायक बंबर ठाकुर से बंशीधर शर्मा ने कई मुद्दों पर चर्चा की जिसका उन्होंने बिना किसी लागलपेट के जवाब दिया। 


आपने साढ़े 4 साल में ऐसा कौन-सा काम किया है जिस पर आपको नाज हो? 
इस कार्यकाल के दौरान सदर विधानसभा क्षेत्र में 7 नए कार्यालय गांवों में खोले हैं तथा देश के इतिहास में पहली बार जलविद्युत परियोजनाओं के विस्थापितों को मंदिरों की तर्ज पर एक प्रतिशत हिस्सा कैश दिलवाया है। इससे कोल डैम परियोजना के 646 परिवारों को प्रतिमाह 25,000 रुपए मिलेंगे तथा यह राशि पूरे 100 साल तक विस्थापितों को मिलेगी। इसके अतिरिक्त कुठेड़ा में लोक निर्माण विभाग का सब-डिवीजन, कुठेड़ा क्षेत्र के लिए एक आई.टी.आई., हरलोग व चांदपुर में हिमाचल प्रदेश राज्य सहकारी बैंक की शाखाएं, मैहरी काथला में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, पंजगाईं व कुठेड़ा में पी.एच.सी. खुलवाई हैं। 


अक्सर कांग्रेसी एकजुटता की बात करते रहते हैं लेकिन ऐसा है नहीं। प्रदेश से लेकर सदर मंडल तक सरकार व संगठन के बीच तालमेल की कमी है। ऐसे में आप मोदी लहर में किस प्रकार जीत पाएंगे?
हिमाचल में मोदी लहर नाम की कोई चीज नहीं है। हिमाचल में विकास की लहर है और मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के आशीर्वाद से सदर विधानसभा क्षेत्र में हुए विकास के कारण जनता मुझे अपना वोट देकर जीत दिलवाएगी। आम कांग्रेसजन व आम जनमानस उनके साथ हैं। कुछ मुट्ठी भर लोग हैं जो हर जगह ही होते हैं। ऐसे लोगों से कोई फर्क नहीं पड़ता है। 


आपके व पूर्व मंत्री राम लाल ठाकुर के बीच विवाद का कारण क्या है। कहीं यह व्यक्तिगत आर्थिक हितों को लेकर उत्पन्न हुआ टकराव तो नहीं? 
मेरा कोई व्यक्तिगत स्वार्थ नहीं है। मेरी लड़ाई आम जनमानस को रोजगार उपलब्ध करवाने की है जिस कारण कभी-कभी पूंजीपतियों से टकराव हो जाता है। मेरा कोई कारोबार नहीं है और न ही विधायक बनने के बाद मैंने अपना कोई कारोबार शुरू किया है बल्कि विधायक बनने से पहले मेरे पास 5 बसें और एक जे.सी.बी. थी जोकि मौजूदा समय में बिक चुकी हैं। मौजूदा समय में केवल एक हैंडपम्प बोर करने की मशीन ही है जिससे भी कुछ लोगों को आपत्ति होती है। स्पष्ट किया कि आमजन को उनके हित दिलवाने के लिए वह हमेशा तत्पर रहेंगे चाहे इसके लिए कोई भी कुर्बानी क्यों न देनी पड़े। 


विवादों का आपसे गहरा रिश्ता है। गाहे-बगाहे आप पर आरोप लगते रहते हैं। बात चाहे महिला आर.टी.ओ. की हो या फिर बागी-बिनौला कांड, डाक्टर कांड, डी.एफ.ओ. कांड या फिर डियारा कांड की?
बंबर ठाकुर ने हंसते हुए जवाब दिया कि विपक्ष के पास कहने को कुछ है नहीं और वह उन्हें बदनाम करने के लिए कोई न कोई मुद्दा बनाने की कोशिश करता रहता है। उनके खिलाफ किसी भी मामले में न तो कोई प्राथमिकी दर्ज हुई है और न ही कोई शिकायत ही किसी ने दी है। उन्हें बदनाम करने के लिए विपक्ष इन मामलों को बार-बार उठाता रहता है ताकि जनता को गुमराह किया जा सके लेकिन सदर की जनता सच्चाई जानती है। दावा किया कि जनता आज भी उनके साथ है। सदर में हुए अथाह विकास से विपक्ष के पास मेरे विरुद्ध बोलने के लिए कुछ नहीं है। विपक्ष उन्हें विवादों में घसीटना चाहता है ताकि उसका स्वार्थ सिद्ध हो सके। 


आपने साढ़े 4 साल में अपनी विधायक निधि को कहीं भी देने की घोषणा नहीं की। विधायक निधि को सीधे लोक निर्माण विभाग, विकास खंड सदर और विद्युत विभाग को ही दी है, इसका क्या कारण है? 
यह सही है कि मैंने अपनी विधायक निधि सीधे विभागों को दी है। स्पष्ट किया कि यही विभाग आम लोगों को सड़क, बिजली, पानी और ग्रामीण क्षेत्र में अन्य मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध करवाने का काम करते हैं। विधायक निधि सीधे किसी संस्था या व्यक्ति को नहीं दी जा सकती है और न ही वह देंगे ताकि विधायक निधि का कोई दुरुपयोग न कर सके। बंबर ठाकुर ने कहा कि उनकी प्राथमिकता सदर क्षेत्र की जनता को मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध करवाने की है ताकि सदर विधानसभा क्षेत्र को आदर्श विधानसभा क्षेत्र बनाया जा सके। 


कुछ डॉक्टर अस्पताल में दवाइयां होने के बावजूद लिख रहे हैं बाहर की दवाइयां
विपक्ष का कहना है कि क्षेत्रीय अस्पताल में आपके और आपकी पत्नी के बढ़ते अनावश्यक हस्तक्षेप के कारण ही इस अस्पताल में कोई भी चिकित्सक आने को तैयार नहीं है। इस प्रश्न पर उन्होंने कहा कि यह सरासर गलत इल्जाम है। यदि ऐसा होता तो आज इस अस्पताल में 22 चिकित्सक काम नहीं कर रहे होते। स्पष्ट किया कि ईमानदार चिकित्सक आज भी यहां काम कर रहे हैं। समस्या तो उन लोगों को हुई है जोकि अस्पताल में दवाइयां होने के बावजूद बाहर से लोगों को जाली दवाइयां लिखकर अपना स्वार्थ सिद्ध करने में जुटे थे। ऐसे चिकित्सकों के खिलाफ आवाज उठाई थी और आगे भी आवाज बुलंद करते रहेंगे। आज कुछ लोग निजी प्रैक्टिस कर रहे हैं और सैलरी सरकार से ले रहे हैं तथा सरकारी आवास में रह रहे हैं। इन लोगों का भाजपा समर्थन कर रही है। इस मामले को राजनीतिक रंग दिया जा रहा है। स्पष्ट किया कि आज ऐसे चिकित्सक सस्पैंड हो चुके हैं तथा इसके बाद भी निजी प्रैक्टिस करने में व्यस्त हैं। चेतावनी दी कि जिला प्रशासन ऐसे चिकित्सक का अस्पताल बंद करवाए। अन्यथा वह स्वयं इस अस्पताल में ताला लगाएंगे।


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