बेरोजगारों से पैसे हड़पने के मामले में महिला सहित 2 गिरफ्तार

Saturday, Apr 13, 2019 - 10:52 PM (IST)

शिमला: शिमला के बी.सी.एस. में ऑफिस खोलकर बेरोजगार युवाओं से पैसे हड़पने के मामले में पुलिस ने 2 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। आरोपियों में छैला के खार की रहने वाली तारा और चियोग के वीरेंद्र शामिल हैं। इन दोनों आरोपियों ने सांझेदारी में शिवशक्ति हिमाचली बुनकर के नाम से फर्म खोली थी। इस फर्म के तहत 80 लोगों को जोड़ा गया था और इन सभी लोगों को रोजगार देेने का झांसा दिया था। शुरूआत में बेरोजगारों से नियुक्ति के नाम पर 3 से 5 हजार रुपए वसूले गए। बेरोजगारों ने भी नौकरी पाने के लिए यह पैसे जमा करवा दिए।

मार्च महीने में की थी 16 के करीब युवाओं की भर्ती

बताया जा रहा है कि फर्म में तैनात अधिकारी ने मार्च महीने में 16 के करीब युवाओं की भर्ती की। जिन लोगों की पहले भर्ती की गई, उन्हें कहा गया कि अब अधिक से अधिक लोगों को इस फर्म से जोडऩा है, ऐसे में फर्म में 80 के करीब लोग जुड़ गए थे। फर्म के तहत युवा लोगों को बुनाई का काम करना था, जिसमें हाथों से कपड़े, जुराब व अन्य चीजों को तैयार करना था। इस फर्म में लड़के, लड़कियां सहित गृहिणियां काम कर रही थीं।

पंथाघाटी में फैक्टरी खोलकर काम देने की कही बात

फर्म की निदेशक ने पंथाघाटी में फैक्टरी खोलकर वहां काम देने की बात कही। निदेशक ने प्रत्येक युवक को 10 से 25 हजार रुपए के बीच वेतन देने को कहा था, तभी युवाओं ने भी फर्म में भर्ती होने के लिए पैसे जमा करवा दिए। पहले तो युवाओं ने काम करना शुरू किया लेकिन जब उन्हें वेतन नहीं मिला तो इससे संबंधित फर्म के निदेशक से बात की गई लेकिन उन्होंने वेतन देने से मना कर दिया, ऐसे में युवाओं को तभी पता चला कि उनके साथ  धोखाधड़ी हुई है। हालांकि युवाओं द्वारा जो पैसे भर्ती होने के लिए निदेशक को दिए थे उसे भी वापस देने की मांग की लेकिन निदेशक ने उन्हें साफ तौर पर मना कर दिया। इस संबंध में बेरोजगार युवा लोगों ने मामले की शिकायत पुलिस थाना न्यू शिमला में दी है। पुलिस की मामले को लेकर कार्रवाई जारी है। आरोपियों से पूछताछ में कई खुलासे हो सकते हैं।

फर्म के नाम से बैंक में नहीं खुला कोई खाता

पुलिस की जांच में सामने आया है कि फर्म के नाम से कोई खाता नहीं खोला गया है। ऐसे में शातिरों ने बेरोजगारों से वसूले पैसे शायद निजी खाते में जमा करवाए होंगे। पुलिस ने आरोपियों के खाते खंगालने भी शुरू कर दिए हैं। जल्द ही यह खुलासे हो सकते हैं कि आखिर में इन्होंने किसके खाते में पैसे जमा करवाए थे।

4 हजार युवाओं को फर्म से जोड़ने का था लक्ष्य

फर्म से 4 हजार युवाओं को जोड़ने का लक्ष्य रखा गया था। अगर बेरोजगारों ने पुलिस थाने में शिकायत दर्ज न करवाई होती तो काफी लोगों को ठगी का शिकार बनाया जा सकता था। बताया जा रहा है कि इससे 1 साल पहले जाखू में भी इन्होंने यह काम चलाया था। किस किस जगह पर इन्होंने ऑफिस खोले थे इसका भी जल्द ही पुलिस की पूछताछ में खुलासा होगा। मामले की पुष्टि एस.पी. शिमला ओमापति जम्वाल ने की है।

Vijay