भोरंज क्षेत्र के इन 2 नेताओं की जुबानी जंग पहुंची पुलिस थाने, पढ़ें पूरी खबर

Sunday, Mar 25, 2018 - 12:14 AM (IST)

भोरंज: उपमंडल भोरंज के दो नेताओं की कलह थाने पहुंच गई है। भोरंज के उपचुनावों की कांग्रेस की तरफ  से प्रत्याशी रही व अब कांग्रेस पार्टी से निष्कासित महिला नेत्री प्रोमिला देवी और भोरंज से ही कांग्रेस के आम चुनावों के उम्मीदवार सुरेश कुमार की जुबानी जंग ने अब कानूनी लड़ाई का रूप इख्तियार कर लिया है। इसी कड़ी में प्रोमिला ने सुरेश के खिलाफ  भोरंज पुलिस थाना में शिकायत दर्ज करवा दी है कि उन्हें हर मंच पर बेइज्जत किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि वे 2 बार समीरपुर वार्ड से जिला परिषद सदस्य रही हैं व एक बार विधायक का चुनाव भी लड़ा है और उनकी समाज में मान प्रतिष्ठा है। 

झूठे आरोपों से वैवाहिक जीवन पर पड़ रहा असर
उन्होंने पुलिस को लिखित शिकायत में कहा है कि उन पर सुरेश कुमार ने जनता के बीच व सोशल मीडिया में झूठे आरोप लगाए हैं जिनसे उनकी मान प्रतिष्ठा को ठेस पहुंची है। उन पर भाजपा नेताओं के साथ तबादला उद्योग से बेशुमार धन इकट्ठा करने के आरोप लगाए गए हैं जोकि सरासर बेबुनियाद व झूठे आरोप हैं। उन्होंने कहा कि उनके चरित्र पर भी आरोप लगाए गए हैं, जिससे उनके वैवाहिक जीवन पर भी असर पड़ रहा है। उन्होंने पुलिस से कानूनी कार्रवाई की मांग की है।

बिना किसी सबूत के मेरे सिर पर फोड़ा हार का ठीकर
इससे पूर्व प्रोमिला ने आरोप लगाया था कि सुरेश वर्ष 2003 व 2007 में चुनाव हारे उस समय इन्हें किसने हरवाया। प्रोमिला ने अपने बयान में कहा कि इस बार के चुनावों में तो हार का ठीकरा तो उनके सिर बिना किसी सबूत के फोड़ा है। उन्होंने कहा कि जब 2012 में उन्हें टिकट मिलना तय था तब भी सुरेश ने उनके खिलाफ  षड्यंत्र रचा था और कांग्रेस पार्टी में इतिहास रहा है कि जिसे उपचुनाव में टिकट दिया हो उसे ही आम चुनावों में भी टिकट मिलना तय होता है लेकिन इस बार भी टिकट कटवाने में षड्यंत्र रचा और जब स्वयं हार गए तो कांग्रेस पार्टी से उन्हें बाहर करवा दिया गया। फिलहाल दोनों नेताओं की जुबानी जंग पुलिस थाना पहुंच गई है। आने वाले समय में ही इसके नतीजे का पता चलेगा। 

अदालत का दरवाजा खटखटाएं प्रोमिला : सुरेश
उधर, इसके बारे में कांग्रेस के प्रत्याशी रहे सुरेश कुमार ने कहा कि पुलिस में शिकायत करने से कुछ भी हासिल नहीं होगा, प्रोमिला को अदालत का दरवाजा खटखटाना चाहिए। वहीं इसके बारे में एस.एच.ओ. राजीव लखनपाल ने बताया कि शिकायत के विवरण से मामला संज्ञा अपराध का होना पाया गया है तथा नियमानुसार शिकायत पत्र को डेली डायरी में चढ़ाकर उक्त शिकायतकर्ता को समझाया गया कि यह मामला उनके अधिकार क्षेत्र का नहीं बल्कि न्यायालय का है।

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