बिना राजकीय सम्मान के सैनिक कुलदीप का हुआ अंतिम संस्कार

Tuesday, Mar 28, 2017 - 03:54 PM (IST)

स्वारघाट: पिछले रविवार को पठानकोट में सेना की 112 टी.ए. डोगरा रैजीमैंट के जवान कुलदीप धीमान (42) की मौत को सेना द्वारा सामान्य सुसाइड केस घोषित करने को लेकर कीरतपुर श्मशानघाट पर काफी देर तक गहमागहमी होती रही। सोमवार को मामले में उस वक्त नया मोड़ आया, जब कुलदीप के परिजन और ग्रामीण इसे सुसाइड केस न मानकर उसका अंतिम संस्कार न करने को लेकर अड़ गए। 


कुलदीप पर जानबूझ कर कायरता का सुसाइड टैग थोपा जा रहा
ग्रामीण शव के साथ आए सैनिकों को दोबारा कुलदीप के शव का पोस्टमार्टम करवाने की मांग करते रहे। जिसके चलते काफी देर तक उनके बीच खींचतान चलती रही और करीब अढ़ाई घंटे के बाद मृतक सैनिक के अंतिम संस्कार की प्रक्रिया को पूरा करवाया गया। उधर, पिता मौजी राम ने बताया कि उसके इकलौते बहादुर बेटे कुलदीप पर जानबूझ कर कायरता का सुसाइड टैग थोपा जा रहा है, जिसकी उचित जांच होनी चाहिए। उनका कहना था कि कुलदीप के सिर में लैफ्ट साइड से गोली आर-पार हुई है जबकि कुलदीप राइट हैंडड था तथा लैफ्ट हैंड से वह भी राइफल से खुद को गोली मारने का कोई तुक ही नहीं बनता।


किसी भी बल द्वारा नहीं दी शोक सलामी
कुलदीप के अंतिम संस्कार में किसी भी बल द्वारा कोई भी शोक सलामी नहीं दी गई। हैरानी की बात तो यह है कि शव के साथ पठानकोट से कोई भी डोगरा बटालियन का सैनिक व अधिकारी उपस्थित नहीं रहा।


क्या था मामला
कुलदीप की पार्थिव देह के साथ आए सैनिकों द्वारा परिजनों को दी गई एफ.आई.आर. की कॉपी के मुताबिक रविवार सुबह 4 बजे उनकी पैट्रोलिंग पर ड्यूटी थी लेकिन जब वह ड्यूटी पर नहीं पहुंचा तो उसकी तलाश करने पर वह एक सैन्य बैरेक के सामने बने गड्ढे में मृत पाया गया।