विक्रमादित्य की अनुराग को सलाह, बिगड़े मानसिक संतुलन का करवाएं इलाज

Wednesday, Jan 11, 2017 - 05:31 PM (IST)

शिमला: हिमाचल प्रदेश युवा कांग्रेस के अध्यक्ष विक्रमादित्य सिंह ने सांसद अनुराग ठाकुर पर पलटवार किया है। युकां अध्यक्ष ने कहा कि सांसद अनुराग ठाकुर ने बीते दिन बद्दी व बंगाणा में राज्य सरकार व वरिष्ठ नेताओं के खिलाफ  जिस तरह की बयानबाजी की है उससे लगता है कि जब से सुप्रीम कोर्ट ने बी.सी.सी.आई. के अध्यक्ष पद से उन्हें बर्खास्त किया है, तब से उनका मानसिक संतुलन ही बिगड़ गया है। उन्होंने अनुराग ठाकुर की आलोचना करते हुए कहा कि तथ्यहीन और निराधार बयानबाजी कर सांसद युवा विरोधी होने का प्रमाण दे रहें हैं। स्थिति यह है कि प्रदेश में सरकार द्वारा बेरोजगारों को दिया जा रहा कौशल विकास का प्रोत्साहन सांसद अनुराग ठाकुर को नजर ही नहीं आ रहा है। 

सरकार युवाओं के कौशल विकास की पक्षधर
प्रदेश सरकार युवाओं के कौशल विकास की पक्षधर है और उन्हें अपने पैरों पर खड़ा करने के लिए प्रोत्साहित एवं प्रशिक्षित कर रही है। विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि प्रदेश में कौशल विकास निगम का गठन किया है और इसके तहत राज्य की कांग्रेस सरकार ने अपने 4 वर्ष के कार्यकाल में 1 लाख 28 हजार युवाओं को कौशल विकास भत्ते से लाभान्वित किया है और 5 वर्षों में 66 हजार युवाओं को प्रशिक्षण दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में कौशल विकास भत्ते के तहत सरकार को युवाओं का समर्थन मिल रहा है और आगे भी मिलता रहेगा।

हिमाचल प्रदेश देश का पहला ऐसा राज्य
युकां अध्यक्ष ने कहा कि हिमाचल प्रदेश देश का ऐसा पहला राज्य है, जिसने युवाओं के भविष्य के प्रति प्रदेश में कौशल विकास निगम का गठन किया है। उन्होंने कहा कि जब से अनुराग ठाकुर बी.सी.सी.आई. के अध्यक्ष पद से मुक्त हुए हैं, तब से वह अपना मानसिक संतुलन खो बैठे हैं और बौखलाहट में शीर्ष नेताओं के खिलाफ  अनाप-शनाप बयानबाजी कर रहे हैं। विक्रमादित्य सिंह ने अनुराग ठाकुर को किसी चिकित्सक से अपना स्वास्थ्य लाभ लेने की भी सलाह दी है। 

अनुराग से नहीं प्रणाम लेने की जरूरत 
विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के कुशल एवं दूरदर्शी नेतृत्व में प्रदेश सरकार ने अपने 4 वर्ष के कार्यकाल में अभूतपूर्व विकास एवं शानदार उपलब्धियां हासिल की हैं, जिससे प्रदेशवासियों का जीवन खुशहाल हुआ है। जनकल्याण को समर्पित ये 4 वर्ष हिमाचल की विकास यात्रा में एक स्वर्णिम अध्याय है। सरकार को विकास के मामले में अनुराग ठाकुर से प्रमाण पत्र लेने की कोई जरूरत नहीं है।