रिवालसर गुरुद्वारे में बढ़ा पुलिस पहरा, जानिए क्या है वजह

Friday, Aug 31, 2018 - 09:40 PM (IST)

रिवालसर: रिवालसर के ऐतिहासिक गुरु गोबिंद सिंह गुरुद्वारे के प्रबंधन पर नेरचौक गुरुद्वारा कमेटी द्वारा बीते रोज किए कब्जे को शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधन कमेटी के सदस्य दलजीत सिंह भिंडर ने सही ठहराया है। रिवालसर गुरुद्वारा साहिब में हुए अखंड पाठ के समापन के बाद विभिन्न स्थानों जिसमें मंडी, नेरचौक, हमीरपुर, पांवटा साहिब व पंजाब सहित अन्य क्षेत्रों से आई सिख संगत को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि ऐतिहासिक गुरुद्वारा रिवालसर व गुरुकोठा के प्रबंधन के बाद मंडी गुरुद्वारे के प्रबंधन को भी बाबा लाभ सिंह कार सेवा के हवाले कर दिया जाएगा। प्रशासन की ओर से रिवालसर में दोनों गुटों की आपसी लड़ाई को लेकर रिवालसर में बड़ी संख्या में पुलिस जवान व कमांडो चप्पे-चप्पे पर तैनात कर रखे थे और देर शाम तक गश्त जारी रही।

कुछ लोगों ने गुरुद्वारों के प्रबंधन पर जबरन किया कब्जा  
भिंडर ने कहा कि जिला मंडी के ऐतिहासिक गुरुद्वारे जिसमें मंडी, रिवालसर व गुरुकोठे का प्रबंधन संत बाबा लाभ सिंह की अगुवाई में चली कार सेवा ने 1982 से 2016 तक व्यवस्थित तरीके से चलाया था और ऐतिहासिक गुरुद्वारों का जीर्णोद्धार भी किया, मगर कुछ लोगों ने 2016 में रिवालसर, मंडी व गुरुकोठा गुरुद्वारों के प्रबंधन पर जबरन कब्जा कर लिया। मगर बीते 2 सालों से रिवालसर गुरुद्वारे में उक्त कमेटी के प्रबंधन को लेकर संगतों व स्थानीय लोगों की ओर से उन्हें लगातार कुप्रबंधन की शिकायतें मिल रही थीं, जिसको लेकर उन्होंने रिवालसर में आकर शिकायत पर प्रबंधन कमेटी से पूछताछ कर प्रबंधन में सुधार लाने को कहा था, मगर बावजूद इसके गुरुद्वारों में सारी व्यवस्थाएं चरमराती रहीं, जिस पर सिख संगत ने संत बाबा लाभ सिंह समर्थित नेरचौक गुरुद्वारा प्रबंधन सभा के सहयोग से आगे आकर मंडी कमेटी को बाहर का रास्ता दिखा दिया।

नेरचौक कमेटी गुंडागर्दी पर उतरी
मंडी गुरुद्वारा कमेटी के प्रधान सुरेंद्र पाल सिंह भाटिया ने कहा कि जिस कमेटी ने जबरन कब्जा किया, वह पूरी तरह नियमों के विरुद्ध है। नेरचौक कमेटी गुंडागर्दी पर उतर आई है। ये लोग न तो प्रशासन की मानते हैं और न स्थानीय लोगों की। उन्होंने कहा कि एस.डी.एम. बल्ह किशोरी लाल की अगुवाई में बीते रोज संपन्न हुई दोनों कमेटियों की बैठक में इस बात की सहमति बनाने का प्रयास किया गया था कि जब तक कोई स्थायी समझौता नहीं होता, तब तक एक नई संचालन कमेटी का गठन किया जाए, जिसमें दोनों कमेटियों से 2-2 लोग व रिवालसर के स्थानीय लोगों में से 2 या 3 सदस्यों को शामिल करने पर विचार हुआ था, मगर नेरचौक कमेटी के सदस्य अपने अडिय़ल रवैये पर अड़ी रही। दोनों कमेटियों की प्रबंधन की लड़ाई कोर्ट में चली है। नेरचौक कमेटी का कब्जा करना कोर्ट की अवमानना है।

संत बाबा लाभ सिंह समर्थित लोगों ने किया शक्ति प्रदर्शन
अखंड पाठ के बहाने संत बाबा लाभ सिंह समर्थित लोगों ने शक्ति प्रदर्शन भी किया, मगर ये लोग भी अधिक भीड़ जुटाने में सफ ल नहीं हुए। कुल मिलाकर संख्या करीब 200 तक ही पहुंच पाई। मगर इस आयोजन में मंडी गुरुद्वारा कमेटी के पदाधिकारियों व जिला मंडी की सिख संगत ने भाग लेने की बजाय दूरी बनाए रखना उचित समझा।

Vijay