Gobindsagar Lake में समाए मंदिरों की होगी पुनर्स्थापना, सर्वे के लिए Delhi से आ रही Team

Wednesday, Jun 26, 2019 - 05:02 PM (IST)

बिलासपुर (मुकेश): कहलूर रियासत के राजाओं द्वारा बसाई गई गोबिंदसागर झील में जलमग्न मंदिरों की पुनर्स्थापना को लेकर अब अंतिम सर्वेक्षण होगा। इस बाबत 28 जून को दिल्ली से इंडियन ट्रस्ट ऑफ हैरिटेज डिवैल्पमैंट एंड रूरल डिवैल्पमैंट की एक टीम बिलासपुर पहुंच रही है। यह टीम 30 जून तक जलमग्न मंदिरों को बाहर निकालकर चयनित जमीन पर स्थानांतरित करने के लिए संभावनाएं तलाशेगी और बाकायदा एक रिपोर्ट तैयार करेगी। इसी रिपोर्ट के आधार पर ही जिला प्रशासन की ओर से धार्मिक पर्यटन निखार के लिए आगामी कार्ययोजना को अंतिम रूप दिया जाएगा।

मंदिरों की पुनर्स्थापना के लिए निजी क्षेत्र की सुनिश्चित होगी भागीदारी

अहम बात यह है कि जिला प्रशासन की ओर से मंदिरों की पुनर्स्थापना के लिए निजी क्षेत्र की भागीदारी सुनिश्चित की जाएगी, जिसके लिए इच्छुक कंपनियों और फर्मों से आगामी 31 जुलाई तक डी.पी.आर. व टैक्नीकल बिड आमंत्रित की गई है। जिलाधीश बिलासपुर राजेश्वर गोयल ने बताया कि इस मसले पर भाषा एवं संस्कृति विभाग से चर्चा के बाद दिल्ली की एक नामी संस्था से सर्वे करवाने का निर्णय लिया गया है, जिसके लिए टीम बिलासपुर आएगी। यह टीम 3 दिनों तक गोबिंदसागर झील में जलमग्न मंदिरों का सर्वे कर एक रिपोर्ट तैयार करेगी।

8वीं से 19वीं शताब्दी के करीब 28 मंदिर झील में समाए

जानकारी के मुताबिक झील में 8वीं से 19वीं शताब्दी के करीब 28 मंदिर समाए हुए हैं और समय बीतने के साथ-साथ इन मंदिरों का अस्तित्व भी खत्म होता जा रहा है, ऐसे में आस्था के प्रतीक इन मंदिरों को पुन: स्थापित करने के लिए कवायद शुरू की गई है। उन्होंने बताया कि सर्वे करने वाली टीम यह भी देखेगी कि कितने मंदिरों को चयनित जमीन पर सुरक्षित पुनर्स्थापित किया जा सकता है।

Vijay