हिमाचल में जमीन लीज पर देने के नियमों का होगा सरलीकरण

Thursday, Nov 01, 2018 - 09:00 AM (IST)

शिमला (कुलदीप): सरकार जमीन को लीज पर देने के लिए नियमों का सरलीकरण करने जा रही है। इसके तहत अनापत्ति प्रमाण पत्रों यानी एन.ओ.सी. के झंझट से मुक्ति मिल सकती है। मंत्रिमंडल की 5 नवम्बर को होने वाली बैठक में इस मामले को विचार के लिए लाया जा रहा है, साथ ही ईंट के दाम कम करने के उद्देश्य से हिमाचल प्रदेश ब्रिक्स (कंट्रोल) एक्ट, 1969 में संशोधन किया जा सकता है। उल्लेखनीय है कि वर्तमान सरकार के पहले बजट भाषण में इस तरह का वायदा किया गया था। मौजूदा समय में नियमों के कड़ा होने के कारण निवेश प्रभावित हो रहा है। 

इस कारण नियमों का सरलीकरण किए जाने का प्रस्ताव है। यानि अब हिमाचल प्रदेश भू-राजस्व अधिनियम 1972 के प्रावधानों को सरल किया जाएगा। सूत्रों के अनुसार प्रदेश में स्थापित होने वाले उद्योगों और शिक्षण संस्थानों के लिए लीज पर जमीन लेने के लिए एन.ओ.सी. की शर्त को हटाया जा सकता है। माना जा रहा है कि सरकार दीवाली से पहले इस बैठक में लोगों को तोहफा भी दे सकती है। विभिन्न विभागों में खाली पड़े पदों को भरने एवं सृजित करने सहित कई अन्य महत्वपूर्ण मुद्दों पर भी बैठक में चर्चा हो सकती है। 

इसी तरह ईंटों के रेट के संदर्भ में सरकार हिमाचल प्रदेश ब्रिक्स (कंट्रोल) एक्ट, 1969 में संशोधन करने संबंधी मामले को बैठक में चर्चा के लिए ला सकती है, ताकि ईंटों के दाम कम हो सकें। पूर्व कांग्रेस सरकार के समय इस एक्ट के तहत जून, 2017 में हिमाचल प्रदेश खाद्य, नागरिक एवं उपभोक्ता मामले विभाग की तरफ से संशोधन किया गया था, जिसमें कहा गया था कि डीलर को तब तक लाइसैंस नहीं दिया जाएगा, जब तक उसके पास हिमाचल प्रदेश के भीतर अपनी विनिर्माण इकाई/भट्टी न हो। जानकारी के अनुसार इस नियम में संशोधन करके इसके दायरे को बढ़ाया जा सकता है।

इन्वैस्टर मीट से पहले नियमों को सरल करना चाहती है सरकार
इस समय एन.ओ.सी. संबंधित पंचायत सहित करीब 6 विभागों से भी लेनी पड़ती है। सरकार ऐसा करके धर्मशाला में आगामी वर्ष फरवरी माह में होने जा रही बड़ी इन्वैस्टर मीट से पहले नियमों को सरल करना चाहती है, ताकि निवेश की राह में आ रही बाधाओं को दूर किया जा सके। 
 

Ekta