ऊना के निजी अस्पताल में 2 बच्चों की मौत पर हंगामा, परिजनों ने डाॅक्टर पर जड़े संगीन आराेप

Wednesday, Feb 26, 2020 - 05:44 PM (IST)

ऊना (अमित): ऊना जिला मुख्यालय में बच्चों के एक निजी अस्पताल में 2 बच्चों की मौत के बाद गुस्साए परिजनों ने अस्पताल जाकर जमकर हंगामा किया। परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर बच्चों के उपचार में लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए जमकर नारेबाजी की व जिला प्रशासन से न्याय की गुहार लगाई है। प्रदर्शन कर रहे शामिल खान निवासी पीपलू ने कहा कि 15 फरवरी को उसकी पत्नी ने ऊना के एक निजी अस्पताल में एक बच्ची को जन्म दिया लेकिन कुछ बीमार होने के चलते वह अपनी बच्ची को उपचार के लिए ऊना के इस नामी निजी अस्पताल में ले आए। यहां पर डॉक्टर ने उनको बच्चे के सही उपचार का भरोसा दिया।

7 दिन तक बच्ची को अस्पताल में उपचाराधीन रखा गया और गम्भीर हालत में भी रैफर नही किया गया। इसके बाद 22 फरवरी को बच्ची को पीजीआई चंडीगढ़ रैफर कर दिया गया। जब बच्ची को पीजीआई पहुंचाया तो डॉक्टरों ने कहा कि उनकी बच्ची की मौत 5 घंटे पहले ही हो चुकी है। यह बात सुनकर उनके होश उड़ गए। परिजनों का आरोप है कि उनकी बच्ची की मौत इसी निजी अस्पताल में ही हो गई थी तो मरने के बाद रैफर क्यों किया गया।

वहीं दूसरे मामले में कमलजीत निवासी हथलोण ने कहा कि उसकी पत्नी की डिलीवरी 15 फरवरी को हुई थी लेकिन उनके बच्चे की तबीयत बिगडऩे पर वह ऊना के इसी नामी अस्पताल में आए, जहां चिकित्सक ने 7 दिन तक उनके बच्चे को उपचाराधीन रखा और 22 फरवरी को रैफर कर दिया। इस दौरान उनके बच्चे की भी मौत हो गई, जिसकी सारी जिम्मेदारी अस्पताल प्रसाशन की है। उन्होंने कहा कि अगर डॉक्टर बच्चे का इलाज करने में असमर्थ था तो उपचाराधीन क्यों रखा गया। परिजनों का आरोप है कि अस्पताल प्रशासन ने जिस तरह बिल बनाए उन्होंने उसे चुकता किया लेकिन उसके बावजूद भी उनके बच्चे की मौत हो गई।

वहीं निजी अस्पताल के डॉक्टर ने परिजनों के आरोपों को सिरे से खारिज किया है। डॉक्टर ने कहा कि दोनों बच्चे सीरियस कंडीशन में ही उनके पास आए थे और समय रहते उन्होंने बच्चों को रैफर कर दिया था।

Vijay