मुख्यमंत्री आवास योजना का रोड मैप फाइनल, मनरेगा में करें अपने घर का काम

Wednesday, Sep 26, 2018 - 03:04 PM (IST)

शिमला (पंकज राक्टा): राज्य सरकार ने मुख्यमंत्री आवास योजना का रोड मैप फाइनल कर दिया है। यह योजना भले ही प्रदेश में वर्ष 2016-17 से क्रियान्वित की जा रही थी लेकिन इस योजना के दिशा-निर्देश तैयार नहीं किए गए थे, जिसे अब अंतिम रूप दे दिया गया है। इस योजना में अनुदान राशि के अतिरिक्त लाभार्थी अब मनरेगा योजना में दिए गए प्रावधान अनुसार अपने गृह निर्माण के लिए अकुशल श्रमिक के 95 कार्य दिवस का उपयोग करने के लिए पात्र होगा। इसके साथ ही लाभार्थी निर्मित होने वाले नए मकान के लिए पानी के कनैक्शन का लाभ राष्ट्रीय पेजयल कार्यक्रम अथवा आई.पी.एच. विभाग के पेजयल कार्यक्रम के तहत प्राप्त कर सकते हैं। इसी तरह मकान के लिए विद्युत कनैक्शन का लाभ दीनदयाल उपाध्याय ग्राम ज्योति योजना अथवा राज्य विद्युत बोर्ड के स्थानीय नैटवर्क से प्राप्त कर सकता है। 

मुख्यमंत्री आवास योजना के तहत ग्राम सभा लाभार्थियों के चयन के लिए उनकी प्राथमिकता सूची तैयार करेंगी। निर्मित मकान पर मुख्यमंत्री आवास योजना का चिन्ह लगाया जाना अनिवार्य होगा। इसके साथ ही योजना में निर्मित मकान का कोई अनिवार्य डिजाइन नहीं होगा लेकिन मकान स्थानीय जलवायु तथा परिस्थितियों के अनुकूल होना चाहिए। निर्मित नए मकान का क्षेत्रफल कम से कम 25 वर्ग मीटर होना चाहिए। इसके साथ ही बरामदा, शौचालय और मकान की छत तक जाने के लिए सीढिय़ों का होना आवश्यक है। इसके साथ ही कई अन्य प्रावधान भी किए गए हैं।

ये है उद्देश्य
योजना का मुख्य उद्देश्य प्रदेश के निर्धन परिवारों को गृह निर्माण हेतु अनुदान प्रदान करना तथा प्राकृतिक आपदा से क्षतिग्रस्त हुए मकानों के पुनर्निर्माण हेतु सहायता प्रदान करता है। इसके लिए ग्रामीण क्षेत्र में निर्धनता की रेखा से नीचे जीवन यापन कर रहे सभी श्रेणियों के परिवार पात्र हैं।

3 किस्तों में मिलेगी धनराशि, मकान की होगी जिओ टैगिंग, महिला के नाम ही होंगे स्वीकृत
योजना के तहत स्वीकृत धनराशि का वितरण संबंधित लाभार्थी को केवल आर.टी.जी.एस. या एन.ई.एफ.टी. से किया जाएगा। लाभार्थी को स्वीकृत धनराशि नए आवास निर्माण के लिए 1,30,000 रुपए 3 किस्तों में दी जाएगी। पहली किस्त 65 हजार, दूसरी 35 हजार और तीसरी किस्त 30 हजार की होगी। आवास निर्माण के 2 चरण में जिओ टैज्ड फोटोग्राफ पहले व दूसरे चरण में लिए जाएंगे। इस योजना के तहत मकान केवल महिलाओं के नाम पर ही स्वीकृत होंगे तथा परिवार में महिला के न होने की दिशा में ही मकान पुरु ष के नाम पर स्वीकृत किया जाएगा।

प्राकृतिक आपदा से क्षतिग्रस्त आवासों के पुनर्निर्माण को तत्काल मिलेगी राशि 
योजना के तहत प्रकृति आपदा प्रभावित परिवार का बी.पी.एल. श्रेणी में होना अनिवार्य शर्त नहीं होगी। आपदा ग्रस्त परिवार ने यदि पूर्व में केंद्र अथवा राज्य सरकार की किसी अन्य आवासीय योजनाओं के तहत अनुदान राशि प्राप्त की है तो भी वह आपदा ग्रस्त परिवार पुन: अनुदान राशि प्राप्त के लिए पात्र होगा। आपदा ग्रस्त परिवार का यदि ग्राम पंचायत के किसी अन्य भाग में या साथ लगती ग्राम पंचायत में क्षतिग्रस्त मकान के अलावा यदि अपना मकान है तो उस अवस्था में वह अनुदान का पात्र नहीं होगा। आपदा ग्रस्त परिवार को 2 लाख रु पए की अनुदान राशि 2 किश्तों में दी जाएगी। इसके तहत प्रथम किश्त 1,20,000 रुपए तथा दूसरी 80 हजार रुपए की होगी।

Ekta