राजेंद्र राणा ने खुले मंच से दिया चैलेंज, कहा- सदमे में हैं BJP नेता

Sunday, Apr 22, 2018 - 10:54 AM (IST)

हमीरपुर: वर्ष 2017 के विधानसभा चुनाव में जो आपदा भाजपा को जिला हमीरपुर में पड़ी है, उस सदमे से अभी तक भाजपा बाहर नहीं निकल पाई है। यही कारण है कि भाजपा के कार्यकर्ता आए दिन आपदा को लेकर बयानबाजी कर रहे हैं। यह बात सुजानपुर में कांग्रेस कार्यकर्ताओं की बैठक में विधायक राजेंद्र राणा ने कही। उन्होंने कहा कि राजेंद्र राणा अपनी जेब से आज तक लोगों को देता आया है, जिस तरह के आरोप भाजपा के कार्यकर्ता उनके ऊपर लगा रहे हैं तो वे आरोप लगाने की बजाय इस बात को लेकर न्यायालय में जाएं। मौजूदा समय में प्रदेश में भाजपा सरकार है और सरकार के हाथों में ही सभी जांच एजैंसियों की चाबी है। वे खुले मंच से भाजपा नेताओं व उनके कार्यकत्र्ताओं को चैलेंज करते हैं कि उनके खिलाफ जांच करवाएं, जिससे दूध का दूध और पानी का पानी सबके सामने होगा। 


उन्होंने कहा कि वर्ष 2019 में लोकसभा चुनाव केंद्र की मोदी सरकार की वायदाखिलाफी का चुनाव होगा। उन्होंने कहा कि वर्तमान में सुजानपुर में जो कार्यालय चल रहे हैं, उन्हें भी स्थानीय भाजपा नेता स्थानांतरित होने से रुकवा नहीं पा रहे हैं। सुजानपुर से पावर कार्पोरेशन का कार्यालय, जिसे खुद तत्कालीन मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल यहां लेकर आए थे, उनकी आंखों के सामने मंडी में शिफ्ट हो रहा है, लेकिन अब उन्हें सुजानपुर की चिंता नहीं सता रही है। इससे पहले बैठक में निर्णय लिया कि जिला प्रशासन ने जो सुजानपुर चौगान की दुर्दशा कर रखी है, उस पर 1 सप्ताह के भीतर अगर चौगान की दशा नहीं सुधारी गई तो कांग्रेस जिला व सुजानपुर प्रशासन के खिलाफ सड़कों पर उतरेगी। 


राणा की अगुवाई में प्रदेश सरकार के खिलाफ बदले की भावना से तबादला किए जाने को लेकर आलोचना प्रस्ताव पारित किया गया। बैठक में मांग उठाई गई कि सुजानपुर विधानसभा क्षेत्र में पूर्व सरकार ने जो भी विकास कार्य के लिए बजट स्वीकृत करवाए हैं व जिन-जिन कार्यों के शिलान्यास प्रक्रिया पूरी करवाई गई है, उन कार्य को शीघ्र शुरू करवाया जाए। अगर ये कार्य शुरू नहीं करवाए गए तो कांग्रेस आलोचना प्रस्ताव के माध्यम से राज्य सरकार के खिलाफ धरने पर उतरेगी। इसमें कहा गया कि विकास कार्यों के लिए जारी की गई राशि को राज्य सरकार द्वारा क्यों रोका जा रहा है। विधायक राजेंद्र राणा ने कहा कि आलोचना प्रस्ताव मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर को भेजा जाएगा, जिस पर शीघ्र कार्रवाई करने की मांग की जाएगी।

Ekta