जान जोखिम में डाल उफनती सतलुज में लकड़ी पकड़ रहे लोग, कभी भी घट सकती है बड़ी दुर्घटना

Tuesday, Aug 07, 2018 - 07:15 PM (IST)

कुमारसैन: उपमंडल कुमारसैन के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत जार के तहत सतलुज नदी के किनारे लुहरी के निकट रशौट में इन दिनों स्थानीय लोग जान जोखिम में डालकर उफनती सतलुज नदी से लकडिय़ां निकाल रहे हैं, ऐसे में कभी भी कोई अप्रिय घटना घट सकती है। इस बारे में प्रशासन द्वारा चेतावनी बोर्ड लगाने के बावजूद धड़ल्ले से लोग नदी में उतरकर लकडिय़ों को निकाल रहे हैं। जान जोखिम में डालकर प्रशासन की चेतावनी को नजरअंदाज कर लोगों द्वारा नदी से लकडिय़ों को निकालने का सिलसिला बदस्तूर जारी है।

2 पुलिस चौकियों के बावजूद जारी है सिलसिला
मिली जानकारी के अनुसार बरसात के दिनों में स्थानीय लोग, जिनमें महिलाएं भी शामिल हैं, अपनी जान की परवाह किए बगैर धड़ल्ले से सतलुज नदी से लकडिय़ां निकालते हैं और किनारे पर लकडिय़ों के ढेर लगाए जा रहे हैं। इसके बाद अपने घरों तक लकड़ी पहुंचाई जाती है लेकिन इस बारे में पुलिस व स्थानीय प्रशासन द्वारा लोगों को न तो रोका जा रहा है और न ही इस बारे में कोई कार्रवाई ही की जा रही है जबकि इस स्थान के निकट 2 पुलिस चौकियां लुहरी व सैंज में स्थित हंै, ऐसे में स्थानीय लोगों बेखौफ होकर सतलुज नदी की लहरों के बीच में जाकर लकडिय़ां निकालने के काम को अंजाम दे रहे हैं। गौरतलब है कि बरसात के दिनों में सतलुज नदी में काफी मात्रा में लकड़ी बहकर आती है, जिसे स्थानीय लोग जान जोखिम में डालकर नदी की लहरों से निकालते हैं।

जार पंचायत की प्रधान ने लोगों की ये अपील
ग्राम पंचायत जार की प्रधान आरती निर्माेही ने सतलुज नदी किनारे रहने वाले जार पंचायत के लोगों से अपील की है कि बरसात के दिनों में नदी के निकट न जाएं और लकड़ी के लिए वन विभाग में प्रार्थना पत्र देकर वहां से लकड़ी लेने के लिए आवेदन करें।

क्या कहते हैं एस.डी.एम.
एस.डी.एम. नरेन्द्र चौहान ने बताया कि सतलुज नदी के किनारे चेतावनी बोर्ड लगाए गए हैं, साथ ही समय-समय पर एनाऊंसमंैट के माध्यम से भी लोगों को सतलुज नदी किनारे न जाने की अपील की जाती है। बरसात के दिनों में नदी का बहाव बहुत ज्यादा होता है, ऐसे में नदी में जा रहे लोगों को रोकने के लिए उचित कार्रवाई की जाएगी।

Vijay