झाड़माजरी अग्निकांड: एनआर अरोमा उद्योग की चौथी मंजिल थी अवैध, जांच में खुलासा

Thursday, Feb 15, 2024 - 12:08 AM (IST)

सोलन (नरेश पाल): बद्दी के झाड़माजरी में भीषण अग्निकांड की भेंट चढ़े एनआर अरोमा उद्योग की चौथी मंजिल अवैध थी। प्रशासन की जांच में यह खुलासा हुआ है। यही नहीं, उद्योग ने सैटबैक (खाली जगह) एरिया को भी निर्माण से कवर कर दिया था। उद्योग ने बद्दी-बरोटीवाला नालागढ़ विकास प्राधिकरण (बीबीएनडीए) के निर्माण नियमों की धज्जियां उड़ाई हुई थी, फिर भी कार्रवाई न करने से बीबीएनडीए की कार्यप्रणाली भी कटघरे में खड़ी हो गई है। यदि समय रहते कार्रवाई की गई होती तो यह प्रदेश के सबसे बड़े औद्योगिक क्षेत्र बीबीएन के इतिहास को सबसे भयावह हादसा होने से बचाया जा सकता था। यह फैक्टरी बीबीएनडीए के कार्यालय से महज करीब 500 से 600 मीटर की दूरी पर ही स्थित है।

9 कामगारों की गई जान, 29 हुए घायल
फैक्टरी में भीषण अग्निकांड में जहां 9 कामगारों की मौत हुई वहीं 29 कामगार इस घटना में घायल हुए हैं। यहां पर विदित रहे कि इस उद्योग को केवल तीन मंजिलों के निर्माण की अनुमति थी लेकिन मौके पर चार मंजिलों को निर्माण था। बीबीएनडीए की सीईओ सोनाक्षी तोमर ने बताया कि अवैध निर्माण को लेकर जांच चली हुई है। एनआर अरोमा उद्योग में हुए भीषण अग्निकांड में सरकार के करीब आधा दर्जन विभागों की कार्यप्रणाली संदेह के घेरे में है। उद्योगों से सम्बन्धित सभी विभागों की कथित कोताही की वजह से इतना बड़ा हादसा हो गया। 

पुलिस फैक्टरी मालिकों को गिरफ्तार करने में अभी तक नाकाम 
बद्दी पुलिस की कार्यप्रणाली पर अब सवाल खड़े होने लग गया है। भीषण अग्निकांड के 13 दिन बाद भी पुलिस फैक्टरी मालिकों को गिरफ्तार तो दूर उनका सुराग लगाने में भी कामयाब नहीं हुई है। सरकार ने इस मामले की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया हुआ है। पुलिस ने फैक्टरी के मालिकों को गिरफ्तार करने के लिए तीन-चार टीमें मध्यप्रदेश सहित कुछ अन्य राज्यों में भेजी हुई हैं लेकिन कामयाबी अभी तक नहीं मिली है। पुलिस को इस मामले में नीलेश पटेल, सिद्धार्थ पटेल व मिलन पटेल की तलाश है।
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Content Writer

Vijay