पंचायतों के गठन को लेकर मुकेश अग्निहोत्री ने घेरी जयराम सरकार, बोले-प्रदेश में चल रही बंदर बांट

punjabkesari.in Friday, Aug 28, 2020 - 07:58 PM (IST)

शिमला (योगराज): नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि हिमाचल प्रदेश में पंचायतों के गठन में जबरदस्त बंदर बांट चल रही है और तमाम कायदे-कानून दरकिनार कर दिए हैं। पहले चरण में मुख्यमंत्री के हलके की पंचायतें बनाने के लिए सारे फार्मूले बदल डाले गए और पिछड़े इलाके के लिए एक नया फार्मूला घड़ा गया ताकि जयराम के हलके में ज्यादा पंचायतें बनाई जा सकें। वहीं दूसरे चरण में तो पंचायतों का गठन बिना किसी फार्मूले के किया गया। उन्होंने कहा कि पंचायतों के गठन में विभाग से ज़्यादा मुख्यमंत्री कार्यालय में नियुक्त एक अफसर निभा रहा है, जिसने अपने हिसाब से फार्मूले बना लिए हैं। उन्होंने कहा कि यह सरकार चंद हलकों की सरकार बनकर रह गई है और राज्य के संतुलित विकास में इस सरकार की कोई दिलचस्पी नही है।

उन्होंने कहा कि पंचायतों को लेकर सरकार में जबरदस्त घमासान मचा है। पहली सूची 230 की थी जिसमें मुख्यमंत्री की पंचायतें बनाने के लिए जनसंख्या और दूरी के मापदंड घटाए गए। राजनीतिक दवाब पडऩे पर 53 और पंचायतें बनाईं और उसमें मानदंडों को हटा ही दिया गया जबकि विभाग के पास इन पंचायतों का सही डाटा तक नहीं था। अभी भी घमासान के चलते एक और सूची प्रस्तावित बताई जा रही है। बेकायदे की पंचायतों के गठन में वह सारी पंचायतें छूट गईं जो असल में बननी थीं। आलम यह है कि मंत्री के गृह जिला में चंद पंचायतें बनी हैं जबकि एक जिला विशेष की भारी-भरकम पंचायतें बना दीं। इसको लेकर भाजपा में भी भारी गुस्सा है। पंचायत विभाग के अलावा वित्त एवं विधि विभाग के विरोध के चलते यह सब हो रहा है।

पंचायतों के चुनाव 22 जनवरी से पहले मुक्कमल करने हैं लेकिन समय पर चुनाव होंगे इस पर सवालिया निशान है क्योंकि अभी तक सुझाव एवं आपत्तियां मांगी जा रही हैं। हदबंदी और वोटर लिस्टें बननी हैं। उन्होंने कहा कि तकरीबन यही हाल नगर निगमों और नगर पंचायतों के गठन में है। आनन-फानन में एक ही जगह को पंचायत और नगर पंचायत तक अधिसूचित कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि समय पर काम न करने की वजह से पंचायतों के गठन में यह लूट मची है। उन्होंने कहा कि अब धारणा यकीन में बदल गई है कि जयराम सरकार को पूरे प्रदेश का सरोकार नहीं है और इसके हर निर्णय चंद हलकों तक सीमित हैं।


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Vijay

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