मनाली की बेटी ने फिर चमकाया नाम, केंद्र सरकार इस अवार्ड के लिए करेगी सम्मानित

Saturday, Dec 16, 2017 - 03:42 PM (IST)

मनाली (सोनू): पढ़ाई व विज्ञान के क्षेत्र में कई बार हिमाचल प्रदेश का नाम रोशन कर चुकी मनाली की होनहार छात्रा जया सागर नेशनल यूथ अवार्ड 2015-16 के लिए चयनित हुई है। युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय भारत सरकार उन्हें इसके लिए सम्मानित करेगी। राजस्थान के जयपुर में आयोजित होने जा रहे नेशनल यूथ फेस्टीवल में देश के राष्ट्रपति के हाथों उनको प्रदान किया जाएगा। मनाली की जया इन दिनों एनआईटी राष्ट्रीय प्रोद्यौगिकी संस्थान हमीरपुर की द्वितीय वर्ष की छात्रा है। 10वीं में राष्ट्रीय स्तर चिल्ड्रन साइंस कांग्रेस में उसने हिमाचल का प्रतिनिधित्व किया। 


2013 में बेंगलुरु में हुए राष्ट्रीय स्तरीय आइरिस विज्ञान मेले में स्वर्ण पदक पाकर वर्ष 2014 में अमरिका में हुए इंटेल इंटरनेशनल सांइस फेयर में जया ने 80 देशों के बाल वैज्ञानिकों के समक्ष भारत को दो पुरस्कार दिलाए। जल विद्युत और सेब की खेती को बेहतर करने जैसे क्षेत्र में जया के कार्य ने उन्हें हिमाचल की सबसे छोटी कापी राइट प्राप्त करने वाली छात्रा बनाया। गांव के स्कूल से विश्व में अपनी कामयाबी का परचम लहराने की राह में वह डॉ एपीजे अब्दुल कलाम को अपना गुरू मानती है। उसने 10वीं तक मनाली पब्लिक स्कूल अलेउ और 12वीं रावमा पाठशाला मनाली में की। बचपन से ही विज्ञान में रूचि रखने वाली जया अलग-अलग प्रतियोगिताओं में भाग लेकर कई बार जिला व राज्य स्तर पर अपनी प्रतिभा का लौहा मनवा चुकी है। 


जया सागर ने पंजाब केसरी से विशेष बातचीत में कहा कि भारत दुनिया का सबसे युवा देश है। 50 करोड से अधिक युवाओं में से 25 युवाओं को भारत सरकार राष्ट्रीय युवा पुरस्कार से सम्मानित कर रही है। जिस युवा की समाज के विकास में भागीदारी रही हो। मुझे खुशी है कि इन 25 में मैं भी शामिल हूं और एक बार फिर हिमाचल का नाम रोशन करने जा रही हूं। उसकी इस कामयाबी से मनाली घाटी सहित रावमा पाठशाला मनाली और मनाली पब्लिक स्कूल अलेउ में खुशी की लहर है।

समाज को विज्ञान से जोड़ने की मुहिम में जया एक ओर बच्चों का मार्ग दर्शन कर रही है तो दूसरी ओर वह खुद अब पर्वतारोहियों की सुरक्षा और शीघ्र बचाव हेतु यंत्र बना रही है। जिसमें भारत सरकार का विज्ञान विभाग उसकी आर्थिक रूप से मदद कर रहा है। कामयाबी की ऊंचाईयों को छूती हुई जया ने हमेशा सबको साथ लेकर चलने की सोच रखी। उसको राष्ट्रपति से यह सम्मान समाज में उनके वैज्ञानिक योगदान के लिए मिल रहा है। सही मार्ग दर्शन व प्रगतिशील सोच से बेटियों की कामयाबी की मिसाल बनी जया आज हर बेटी के लिए प्रेरणा का स्रोत बन गई है।