Scrub typhus का कहर, कुल्लू अस्पताल 5 मरीज पॉजिटिव

Tuesday, Sep 03, 2019 - 01:06 PM (IST)

कुल्लू (मनमिंदर) : प्रदेश के अन्य जिलों के बाद अब कुल्लू में भी स्क्रब टाइफस ने दस्तक दे दी है।बरसात के मौसम में क्षत्रिय अस्पताल कुल्लू में स्क्रब टाइफस के मामले सामने आने लगे हैं।यहां 5 मरीज स्क्रब टाइफस से ग्रसित पाए गए हैं। इनमें से एक मरीज को आई.जी.एम.सी शिमला रेफर किया गया है। स्क्रब टायफस के पॉजिटिव केसों में तीन महिला और दो पुरुष हैं।

गौर रहे कि आम तौर पर बरसात के मौसम में तेज़ बुखार से पीड़ित रोगियों की संख्या बढ़ जाती है। स्क्रब टाइफस फैलाने वाला टिशु शरीर के खुले भागों को काटता है। इसलिए घरों के आसपास  सफाई का विशेष ध्यान रखें। स्क्रब टाइफस के मामले आने के बाद अस्पताल प्रबंधन भी सतर्क हो गया है।जिले के सभी स्वास्थ्य संस्थानों को भी इसको लेकर सतर्क रहने को कहा गया है। स्वास्थ्य विभाग की और से जागरूकता शिविर भी आयोजित किए जा रहे हैं।

मामले को लेकर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ सुशील चंद्र ने भी आम जनता को आगाह किया है कि बरसात के मौसम में तेज बुखार के रोगियों की संख्या अधिक हो जाती है। यह बुखार स्क्रब टाइफस भी हो सकता है।यह रोग संक्रमित पिस्सू के काटने से फैलता है जो खेतों झाड़ियों व घास में रहने वाले चूहे में पनपता है। यह जीवाणु चमड़ी  के माध्यम से शरीर में प्रवेश करता है और स्क्रब टाइफस बुखार पैदा करता है। खेतों में जब काम करने जाएं तो पूरी बाजू के कपड़े हाथों में दस्ताने और पैरों को पूरा ढकने वाले जूते पहन कर जाएं।

सीएमओ डॉक्टर सुशील चंद्र ने कहा कि सभी स्वास्थ्य संस्थानों में स्क्रब टाइफस की दवाइयां मुफत में  उपलब्ध हैं। इस बुखार को लोग जोड़-तोड़ बुखार भी कहते हैं।यह रोग एक आदमी से दूसरे को नहीं फैलता है। स्क्रब टाइफस का उपचार बहुत आसान है। लक्षण दिखाई देने पर तुरंत डॉक्टर को दिखाएं। बुखार कैसा भी हो नजदीक के स्वास्थ्य केंद्र में संपर्क करें।

क्या है लक्षण

स्क्रब टाइफस होने पर तेज बुखार 104 से 105 डिग्री तक होता है और जोड़ों में दर्द होता है।शरीर टूटने लगता है और गर्दन व बाजू के नीचे कूल्हों पर गिलटियां होनी शुरू हो जाती हैं। 

 ऐसे करें बचाव 

स्क्रब टाइफस से बचाव करने के लिए शरीर की साफ-सफाई का पूरा ध्यान रखें और घर के चारों और घास खरपतवार उगने ना दें।

 

 

Edited By

Simpy Khanna