खुद को सुंदर और अट्रैक्टिव नहीं मानती थीं Kangana Ranaut, 'महिलाओं को दिया महत्वपूर्ण संदेश
punjabkesari.in Sunday, Sep 15, 2024 - 04:22 PM (IST)
हिमाचल डेस्क। पिछले कुछ दिनों से कंगना रनौत की फिल्म "इमरजेंसी" सुर्खियों में है। सिख समुदाय द्वारा इसका विरोध किए जाने की वजह से फिल्म की रिलीज डेट अनिश्चितता के घेरे में है। हालांकि, इस सब के बीच कंगना ने सोशल मीडिया पर एक बेहद व्यक्तिगत और दिल छू लेने वाला पोस्ट शेयर किया है।
खुद को लेकर कंगना की आत्म-संवाद
कंगना ने हाल ही में अपनी फिल्म "वो लम्हें" का एक पुराना वीडियो शेयर किया। यह वीडियो साल 2006 का है, जब वह इंडस्ट्री में नई थीं। कंगना ने इस पोस्ट में लिखा कि तब वह अपने लुक को लेकर असंतुष्ट और आत्म-संदेह से भरपूर थीं। उन्होंने खुलासा किया कि वह खुद को सुंदर और आकर्षक नहीं मानती थीं और यह युवावस्था का एक सामान्य अनुभव था।
आत्म-स्वीकृति का महत्वपूर्ण संदेश
कंगना ने अपने पोस्ट में लिखा, “ये वीडियो मेरी दूसरी फिल्म 'वो लम्हें' के म्यूजिक लॉन्च का है। उन दिनों मैं एक टीनेज गर्ल थी और हर युवा लड़की की तरह मुझे अपनी सूरत और रंग से नफरत थी। कोई भी युवा महिला अपने आपको सुंदर और अट्रैक्टिव नहीं मानती है। शायद यही है जो उन्हें कमजोर बनाता है। लेकिन आज मैं उस तरह दिखने के लिए कुछ भी कर सकती हूं जैसा कि मैं तब दिखती थी और ये सिर्फ लुक नहीं है बल्कि नैचुरल लाइफ, पावर और सभी एनर्जी लेवल्स पर है जिसकी मैंने तब सराहना नहीं की थी।"
महिलाओं के लिए प्रेरणादायक संदेश
कंगना ने सभी उम्र की महिलाओं के लिए प्रेरणादायक शब्द भी साझा किए। उन्होंने लिखा, "आज आप सबसे कम उम्र की हैं, हर उम्र और फेज सुंदर होता है, अपने लिए दयालु होना सीखें। भले ही आप अपने रिफ्लेक्शन में सुंदरता ना पा सकें लेकिन जान लें कि आप जब कभी भी पीछे मुड़कर देखेंगी तो पाएंगी कि आप कितनी सुंदर थीं। लेकिन भरोसा रखिए आप खूबसूरत हैं।"
फिल्म उद्योग में दो दशक
कंगना रनौत ने अपने करियर की शुरुआत 2006 में की थी। लगभग दो दशकों के इस सफर में उन्होंने कई यादगार और चर्चित प्रदर्शन किए हैं, जिनमें "क्वीन" और "तनु वेड्स मनु" शामिल हैं। अब, वह अपनी फिल्म "इमरजेंसी" की रिलीज का इंतजार कर रही हैं, और उनके इस नए पोस्ट ने फैंस को एक नई दिशा में सोचने के लिए प्रेरित किया है। कंगना की यह पोस्ट एक महत्वपूर्ण संदेश देती है कि आत्म-संयम और आत्म-स्वीकृति का सफर हर किसी के लिए अलग होता है। यही सफर उन्हें और भी सशक्त और प्रेरणादायक बनाता है।