इतिहास में पहली बार नवरात्रों में सूने हुए मंदिर, छाया सन्नाटा

Tuesday, Mar 31, 2020 - 07:44 PM (IST)

ऊना (सुरेंद्र): हर समय भक्तों की अपार भीड़ से भरे रहने वाले मंदिर में वीरानगी से पुजारी भी हैरान हैं। देश की विख्यात शक्तिपीठ में नवरात्रों के दौरान सन्नाटा छाया हुआ है। जिन नवरात्रों में 2 से 3 किलोमीटर लम्बी भक्तों की लाइन हुआ करती थी और हर समय जो मंदिर जय-जयकार से गूंज उठते थे वहां अब एक भी भक्त नहीं है। इतिहास में शायद यह पहली बार हुआ है जब मंदिर के कपाट बंद हैं और भक्तों के मंदिर में आने पर पाबंदी है। पूरे चिंतपूर्णी क्षेत्र को एक तरीके से सील कर दिया गया है। कुछ पुलिस कर्मियों को छोड़कर यहां कोई चहल-पहल नहीं है। मंदिर में केवल अधिकृत पुजारियों को ही पूजा करने की अनुमति है। इसके अतिरिक्त कोई भी व्यक्ति मंदिर में प्रवेश नहीं कर सकता है।

बारीदार सभा के अध्यक्ष एवं मुख्य पुजारी रविन्द्र छिंदा कहते हैं कि पिछले कई सौ वर्षों में कभी ऐसी स्थिति नहीं आई है। ऐसा पहली बार हुआ है जब मंदिर को भक्तों के लिए बंद करना पड़ा है। उन्होंने कहा कि मंदिर में नियमित पूजा अर्चना चल रही है और विश्व शांति एवं हर किसी के सुकुशल होने व मंगल कामना के लिए प्रार्थना की जा रही है। नवरात्रों के दौरान मंदिर में इतनी भीड़ हुआ करती थी कि व्यवस्थाएं बनाना भी मुश्किल हुआ करता था लेकिन उन्होंने कभी सोचा भी नहीं था कि ऐसे दिन आएंगे कि यहां पूरी तरह से सन्नाटा होगा।

चिंतपूर्णी मंदिर को चारों तरफ से बंद कर पुलिस तैनात कर दी गई है। हालांकि यहां न तो कोई भक्त यहां आ रहा है और न ही किसी को आने की अनुमति है। बुधवार को अष्टमी है। ऐसे में अष्टमी पर माता चिंतपूर्णी की 3 बार पूजा अर्चना और स्नान करवाए जाएंगे। केवल पुजारी ही मंदिर में पूजा अर्चना करेंगे। अष्टमी के दिन भी मंदिर बंद रहेगा जो कि एक एतिहासिक घटना है। पूजा बाजार बंद है। कहीं कोई दिखाई नहीं दे रहा है।

Vijay