डॉ. मारकंडा ने अपने दौरे के तीसरे दिन किया योचे व खंगसर पुल का निरीक्षण

Tuesday, Sep 22, 2020 - 05:22 PM (IST)

केलंग : तकनीकी शिक्षा, जनजातीय विकास मंत्री, डॉ मारकंडा ने अपने छः दिवसीय दौरे के तीसरे दिन योचे तथा प्यूकर पुल का निरीक्षण किया एवं अधिकारियों को तेजी से कार्य पूरा करने के निर्देश दिए ताकि शीघ्र ही योचे गाँव को बस सुविधा से जोड़ा जा सके। इसके बाद जिस्पा में, कृषि विभाग द्वारा आयोजित किसान प्रशिक्षण शिविर में मुख्यातिथि के रूप में शिरकत करते हुए उन्होंने किसानों को प्राकृतिक कृषि की ओर ध्यान देने की की बात कही। उन्होंने बताया कि रासायनिक कृषि से किसान की कृषि की लागत बढ़ती  है, वह ऋण के बोझ से दब जाता है तथा उत्पाद स्वास्थ्य की दृष्टि से हानिकारक होता है जिससे कि कई बीमारियों के खतरे बढ़ रहे हैं। जैविक कृषि में भी उत्पादन की लागत बढ़ती है। परन्तु प्राकृतिक खेती में कृषक की उत्पादन लागत बहुत कम रहती है तथा उत्पादन में वृद्धि होती है। साथ ही प्राकृतिक कृषि उत्पाद स्वास्थ्य की दृष्टि से सुरक्षित एवं जहरमुक्त होते हैं तथा इसमें देसी गाय के गोबर एवं गोमूत्र का प्रयोग किया जाता है । 

डॉ मारकंडा ने जानकारी देते हुए बताया कि सरकार का प्रयास है कि हिमाचल प्रदेश को वर्ष 2022 तक प्रथम प्राकृतिक कृषि राज्य के रूप में विकसित किया जा सके। प्राकृतिक कृषि के लिए हिमाचल सरकार ने कई तरह के अनुदान देने का प्रावधान है देसी गाय खरीदने, गौशाला बनाने, जीवामृत के लिये ड्रम पर अनुदान दिया जाता है। उन्होंने कृषकों लहसुन व सब्जियों के बीज की किट प्रदान कर बीज वितरण भी किया। लाहौल में प्रति परिवार एक बीज किट कृषि विभाग द्वारा दी जाएगी। 

उन्होंने जानकारी दी कि 3 अक्टूबर को देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रोहतांग टनल का उद्घाटन करेंगे, जिसके लिए तैयारी जोरों से चल रही है। मोदी जी का कार्यक्रम संभवतः एक दिन केलांग में ठहराव का बन रहा है। विषय विशेषज्ञ डॉ राजेंदर ठाकुर ने मुख्यातिथि का स्वागत किया तथा प्राकृतिक कृषि की विधि के बारे में जानकारी दी। जिला कृषि अधिकारी ने डॉ वीरेंद्र ने डॉ. मारकंडा सहित सभी उपस्थित अधिकारियों व किसानों का धन्यवाद किया। इस अवसर पर जनजातीय सलाहकार समिति के सदस्य शमशेर सहित कई विभागीय अधिकारी भी उपस्थित रहे।
 

prashant sharma