बम बम भोले के जयकारों से गुंजा जिला ऊना

punjabkesari.in Thursday, Mar 11, 2021 - 01:55 PM (IST)

ऊना (अमित शर्मा) : ऊना जिला में महाशिवरात्रि का पर्व बहुत ही श्रद्धा और आस्था के साथ धूमधाम से मनाया गया। ऊना जिला के शिवालयों में सुबह से ही श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ना शुरू हो गई थी, वहीं जिला ऊना के ऐतिहासिक शिव मंदिरों में हिमाचल ही नहीं बल्कि पंजाब, हरियाणा और दिल्ली से आये श्रद्धालुओं ने भी शीश नवाया। शिवरात्रि के अवसर पर ऊना के साथ लगते पांडव काल में निर्मित बनौड़े महादेव मंदिर में तालाब पर डाला गया झूला पुल श्रद्धालुओं के आकर्षण का केंद्र रहा और श्रद्धालुओं ने मंदिर में पहुँच पूजा अर्चना कर भगवान भोलेनाथ का आशीर्वाद प्राप्त किया। 

शिवरात्रि के पर्व पर वीरवार को जिला ऊना बम बम भोले के जयकारों से गूंज उठा। इस दौरान जिला के सैंकडों मंदिरों में हजारों की तादाद में भक्तों ने माथा टेका। सुबह से ही जिला के शिवालयों में भक्तों की भीड़ उमडनी शुरू हो गई थी। वहीं ऊना के प्रमुख ऐतिहासिक शिव मंदिरों में श्रद्धालुओं का खूब जनसैलाब उमड़ा। जिला में स्थित ऐतिहासिक शिव मंदिरों में गुरु द्रोणाचार्य की तपोभूमि के रूप में प्रसिद्ध गगरेट के शिवबाड़ी, चताड़ा में बनौड़े महादेव व अर्द्धनारीश्वर, तलमेहड़ा स्थित सदाशिव ध्यूंसर महादेव और भगवान् शिव की 81 फीट ऊँची प्रतिमा वाले महादेव मंदिर कोटला कलां में सुबह भौर फूटने से पहले ही श्रद्धालुओं की लंबी कतारे लगना शुरू हो गई थी। 

श्रद्धालुओं ने शिवलिंगों का जलाभिषेक करके पूजा अर्चना की। शिवजी की पावन पिंडियों को पंचामृत स्नान करवाया गया। ऊना जिला के पौराणिक मंदिरों में हिमाचल ही नहीं पंजाब, हरियाणा और दिल्ली से आये श्रद्धालु भी नतमस्तक हुए यह सभी मंदिर पांडव काल के माने जाते है। ऐसी मान्यता है कि पांडवों ने अज्ञातवास के दौरान शिवालिक की पहाड़ियों पर स्थित इन मंदिरों का निर्माण किया था। बनौड़े महादेव मंदिर चताड़ा में महाशिवरात्रि के अवसर पर प्राचीन तालाब के ऊपर डाला गया झूला पुल श्रद्धालुओं के आकर्षण का केंद्र रहा। बनौड़े महादेव में दूरदराज से पहुंचे श्रद्धालुओं कि माने तो भगवान् भोलेनाथ के इस प्राचीन मंदिर में जो भी श्रद्धालु सच्चे मन से मनोकामना मांगता है उसकी सभी मन्नतें पूरी होती है। 

सुप्रसिद्ध बनौड़े महादेव मंदिर कमेटी के अध्यक्ष हर्ष शर्मा ने बताया कि बनौड़े महादेव मंदिर का निर्माण पांडवों ने किया था और महाशिवरात्रि पर्व पर दूर दूर से श्रद्धालु पहुंचते है। वहीं इतिहास के जानकार महेश शारदा ने बताया कि पांडवों ने अज्ञातवास के दौरान शिवालिक की पहाड़ियों में शिव मंदिरों की स्थापना की थी उन्ही में से बनौड़े महादेव मंदिर भी एक है। उन्होंने बताया कि इसी स्थान पर भगवान् शंकर अर्द्धनारीश्वर रूप में भी पिंडी में विराजमान है।
 


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prashant sharma

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