नगरोटा सूरियां हादसे के 2 घायलों ने टांडा अस्पताल में तोड़ा दम

Thursday, May 10, 2018 - 11:13 PM (IST)

कांगड़ा/नगरोटा सूरियां: नगरोटा सूरियां में सिलैंडर ब्लास्ट में झुलसे 22 लोग गत शाम डा. राजेंद्र प्रसाद मैडीकल कालेज टांडा उपचार के लिए पहुंचाए गए थे, जिनमें से 2 ने वीरवार को दम तोड़ दिया। मरने वालों में कैथों राम (78) पुत्र जगत राम निवासी नगरोटा सूरियां व फौजी राम (54) पुत्र राम लाल निवासी खबल शामिल है। कैथों राम के 2 बेटे और 2 बेटियां हंै। फौजी राम की मौत से पूरा परिवार सदमे में है। पुलिस ने मौत के बाद धारा 336, 337 व 304ए के तहत मामला दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है। इस समय भी 3 झुलसे व्यक्ति आपातकालीन विभाग में गंभीर अवस्था में उपचाराधीन हैं। एक घायल जिसकी दुकान में सिलैंडर फटा था, उसको छुट्टी दे दी गई है क्योंकि मृतकों में से एक उसका चाचा लगता है।


घायलों का हालचाल पूछने टांडा अस्पताल पहुंचे मंत्री व विधायक
शहरी विकास कैबिनट मंत्री सरवीण चौधरी, स्वास्थ्य मंत्री विपिन सिंह परमार टांडा अस्पताल पहुंचे व घायलों का हाल पूछा। मंत्री सरवीण चौधरी ने बताया कि सरकार की ओर से पूरी सहायता की जा रही है। स्वास्थ्य मंत्री विपिन परमार ने जब रोगियों के तीमारदारों से पूछा कोई समस्या तो नहीं है तो उनका गुस्सा फुट पड़ा तथा आपातकालीन वार्ड में उपचाराधीन रंजना देवी, जिसकी हालत गंभीर बताई जा रही है, उसके बेटे नवीन, ननद तथा अन्य परिजनों ने कहा कि यदि नगरोटा सूरियां के अस्पताल में एक भी डाक्टर होता तो इन सब रोगियों की हालत इतनी खराब नहीं होती। उन्होंने कहा कि उस अस्पताल में डाक्टरों के अलावा न स्ट्रैचर, न दवाई, न एम्बुलैंस और न ही मरहम था।


मृतकों के लिए 4 तो घायलों को डेढ़ लाख रुपए का मुआवजा
इसी प्रकार सुशील कुमार जिसका बेटा सुद्धांशु आपातकालीन में है, उसने मंत्री को बताया कि जले हुए व्यक्ति को किसी चीज का इन्फैक्शन न हो, इसका बहुत ख्याल रखना पड़ता है किंतु नगरोटा सूरियां में हमें इस हालत में जमीन पर लेटाया गया। इसी प्रकार अंशुल शर्मा के पिता बलदेव शर्मा का भी यही कहना था कि वहां अस्पताल जैसा कुछ भी नहीं है। वहीं स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने मृतकों के लिए 4-4 लाख तथा गम्भीर रूप से घायलों को डेढ़-डेढ़ लाख रुपए मुआवजे के तौर पर देने की घोषणा की है। उन्होंने कहा कि वहां पर डाक्टर के 2 पद स्वीकृत हैं, जिनमें से एक कोर्ट केस लेकर स्टे पर है तथा दूसरे किसी कार्य से शिमला गए हुए हैं। यह दुखदायक है कि ऐसे समय में यह दुर्घटना हुई जब दोनों ही डाक्टर वहां नहीं थे।


कांग्रेस ने मैडीकल कालेज तो खोल दिए लेकिन स्टाफ नहीं भरा
उन्होंने कहा कि डाक्टरों की कमी आज से नहीं है, यह कांग्रेस के कार्यकाल की है। उन्होंने मैडीकल कालेज तो खोल दिए किन्तु उनमें डाक्टर तथा अन्य स्टाफ की भर्ती नहीं की, जिससे आज परेशानी उठानी पड़ रही है।  इस पर सभी को यही कहते हुए स्वास्थ्य मंत्री आगे निकलते चले गए कि जल्दी व्यवस्था को सुधारा जाएगा। इस मौके पर उनके साथ जिलाधीश कांगड़ा संदीप कुमार, एस.पी. संतोष पटियाल, प्रधानाचार्य रमेश भारती, एम.एस. गुरदर्शन गुप्ता, डा. भानु अवस्थी, संजय चौधरी के अलावा अन्य डाक्टर तथा अधिकारी मौजूद थे।


नि:शुल्क किया जा रहा घायलों का इलाज : अरुण मेहरा
नूरपुर के विधायक राकेश पठानिया भी टांडा पहुंचे। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर का आने का प्रोग्राम था किन्तु किन्हीं कारणों से वह नहीं आ पाए। उन्होंने कहा कि नगरोटा सूरियां के अस्पताल में डाक्टर न होने के कारण उन्हें जो परेशानी हुई वह दुखदायक है यदि उन्हें वहीं उपचार मिल जाता तो शायद उनको इतनी पीड़ा न सहनी पड़ती। इसकी जानकारी उन्होंने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर को दे दी है। विधायक अरुण मेहरा ने कहा कि सभी घायलों का इलाज सरकार की ओर से नि:शुल्क किया जा रहा है।


स्वास्थ्य विभाग व प्रदेश सरकार के खिलाफ की नारेबाजी
नगरोटा सूरियां बस अड्डे पर हुए हादसे के चलते वीरवार को पूरा बाजार बंद रहा। 2 लोगों की मौत के चलते करीब 10 पंचायतों के गुस्साए लोगों ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र नगरोटा सूरियां में हादसे में घायल लोगों को उपचार न मिलने व चिकित्सकों की कमी के चलते स्वास्थ्य विभाग, प्रशासन व सरकार के खिलाफ  जमकर नारेबाजी की। वहीं प्रधान ग्राम पंचायत नगरोटा सूरियां, व व्यापार मंडल प्रधान शिव कुमार शर्मा ने लोगों की मौजूदगी में नायब तहसीलदार नगरोटा सूरियां बाल कृष्ण के माध्यम से सरकार व प्रशासन को एक ज्ञापन सौंपा, जिसमें एक सप्ताह के भीतर नगरोटा सूरियां सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में चिकित्सकों की नियुक्ति व दूसरी मूलभूत सुविधाएं मुहैया करवाने की बात कही। यदि सरकार ऐसा नहीं करती है तो लोग स्वास्थ्य केंद्र की तालाबंदी करेंगे।

Vijay