नियम दरकिनार कर कई निजी शिक्षण संस्थान प्रकाशित कर रहे प्रोस्पैक्टस

Sunday, Aug 05, 2018 - 09:03 AM (IST)

शिमला (अभिषेक): हिमाचल प्रदेश में स्थित कई निजी शिक्षण संस्थान नियमों को दरकिनार कर प्रोस्पैक्टस प्रकाशित कर रहे हैं। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यू.जी.सी.) के निर्देशों के तहत और निर्धारित नियमों के तहत कई निजी शिक्षण संस्थान प्रोस्पैक्टस प्रकाशित नहीं कर रहे हैं। मामले सामने के बाद हिमाचल प्रदेश निजी शिक्षण संस्थान नियामक आयोग ने कड़ा संज्ञान लिया है। नियामक आयोग ने निजी शिक्षण संस्थानों को प्रोस्पैक्टस निर्धारत गाइड लाइन्स व यू.जी.सी. द्वारा निर्धारित नियमों के तहत प्रकाशित करने के निर्देश दिए हैं। 


आयोग के पास कई ऐसी शिकायतें भी पहुंची हैं, जिनमें आरोप लगाया गया है कि कई निजी शिक्षण संस्थान अपने प्रोस्पैक्टस में तथ्यों को छुपा रहे हैं। इन शिकायतों पर गौर करने के बाद नियामक आयोग ने हिमाचल प्रदेश में स्थापित निजी विश्वविद्यालयों व अन्य निजी शिक्षण संस्थानों को प्रोस्पैक्टस प्रकाशित करने के दौरान तय गाइड लाइन्स को अपनाने के निर्देश दिए हैं। आयोग ने हिमाचल प्रदेश में स्थापित सभी निजी विश्वविद्यालयों के रजिस्ट्रार और अन्य निजी शिक्षण संस्थानों के प्रधानाचार्यों को पत्र लिखा है और तय गाइड लाइन्स के तहत प्रत्येक शैक्षणिक सत्र के लिए अलग से प्रोस्पैैक्टस प्रकाशित करना होगा ताकि विद्यार्थियों व अभिभावकों को प्रोस्पैक्टस के जरिए जरूरी व सही जानकारी मिल सके। 


गाइड लाइन्स के तहत इन बिंदुओं को करना होगा प्रोस्पैैक्टस में प्रकाशित
हिमाचल प्रदेश में स्थापित निजी शिक्षण संस्थानों के प्रोस्पैक्टस में अनिवार्य रूप से संबंधित संस्थान के संपर्क, फैक्स नंबर व ई-मेल आई.डी. को प्रकाशित करना होगा। इसके अलावा संस्थान में चल रहे प्रत्येक कोर्स में तैनात फैकल्टी नाम उसके अकादमिक बायोडाटा के साथ भी प्रोस्पैक्टस में डालना होगा। इसी तरह फिजिकल अकादमिक इन्फ्रास्ट्रक्चर, कोर्स वार स्वीकृत सीटों के अलावा विभिन्न वर्गों व हिमाचली विद्यार्थियों के लिए आरक्षित सीटों का ब्यौरा, प्रत्येक कोर्स का स्वीकृत फीस स्ट्रक्चर, कोर्स की समय सीमा और कोर्स स्ट्रक्चर, प्रत्येक कोर्स का एडमिशन क्राइटीरिया, हिमाचल प्रदेश निजी शिक्षण संस्थान नियामक आयोग का पब्लिक नोटिस, होस्टल चाॢजस (कम्पोनैंट वाइज), डिग्री/सर्टीफिकेट आदि जारी करने के लिए निर्धारित चाॢजस सहित अन्य चार्जिस (सरकार द्वारा स्वीकृत) भी निजी शिक्षण संस्थानों के अपने प्रोस्पैक्टस में अनिवार्य रूप से प्रकाशित करने होंगे।
 

Ekta