स्वच्छता रैकिंग में पिछड़ा, पर इस मामले में शिमला ने मारी बाजी
punjabkesari.in Sunday, Nov 21, 2021 - 10:50 AM (IST)
शिमला : देश में हुए स्वच्छता सर्वेक्षण 2021 में हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला को रैकिंग में काफी नुकसान हुआ है। स्वच्छता रैकिंग में पिछड़ने के बाद भी अच्छी खबर यह है कि सर्वेक्षण में शिमला शहर को गारबेज फ्री सिटी घोषित किया गया है। इस श्रेणी में शिमला प्रदेश का पहला शहर है। गारबेज फ्री सिटी के तौर पर शिमला शहर को एक स्टार मिला है। हालांकि नगर निगम ने सात स्टार का दावा किया था। पिछले साल शिमला को खुला शौचमुक्त की श्रेणी में ओडीएफ डबल प्लस भी घोषित किया जा चुका है।
सर्वेक्षण में अब गारबेज फ्री सिटी के तौर पर भी शिमला को पहचान दी गई है। यहां आपको बता दें कि गारबेज फ्री सिटी की सफलता भले ही इस साल मिली हो परंतु इस श्रेणी के लिए शिमला तीन साल से अपना दावा पेश कर रहा था। निगम स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. चेतन चौहान की अगुवाई वाली टीम ने गारबेज फ्री सिटी की श्रेणी में आने के लिए कड़ी मेहनत की थी। गारबेज फ्री सिटी का अर्थ है कि शिमला शहर में अब खुले में कचरा नहीं फेंका जाता। स्वास्थ्य अधिकारी चेतन चौहान ने कहा कि निगम कर्मचारियों के कोविड ड्यूटी के चलते दूसरी श्रेणियों में शिमला बेहतर प्रदर्शन नहीं कर पाया लेकिन अगले साल इसमें सुधार किया जाएगा।
25000 से कम आबादी वाले शहरी निकायों ने अच्छा प्रदर्शन किया है। पिछले साल जहां 2020 के सर्वेक्षण में राज्य में पहले स्थान पर रहने वाले नयना देवी शहर की जोनल रैंकिंग 397 थी। हालांकि इस बार धर्मशाला समेत आठ ऐसे शहर हैं, जिनकी रैंकिंग 400 से कम रही है। धर्मशाला 134वें स्थान पर रहा, पालमपुर 214, कांगड़ा 266, नारकंडा 276 बैजनाथ पपरोला 318, रिवालसर 334, सरकाघाट 344 और परवाणू 366वें पायदान पर रहा। पिछले साल पहले स्थान पर रहने वाले नयना देवी शहर की रैंकिंग इस बार 661 पहुंच गई। शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने स्वच्छ सर्वेक्षण 2021 में अच्छे प्रदर्शन को लेकर राज्य के लोगों को बधाई दी। मंत्री ने कहा कि पिछले साल की तुलना में कई शहरों ने अच्छा प्रदर्शन किया है। जिन शहरों के प्रदर्शन में कमी दिखी है, उसे दूर करेंगे।