प्रशासन ऑटो चालकों पर शिकंजा कसने में नाकाम,लोगों को देना पड़ रहा बढ़ा हुआ किराया

Sunday, Jun 30, 2019 - 11:30 AM (IST)

सोलन : ऑटो यूनियन द्वारा अपने स्तर पर किराया बढ़ाने के बाद जिला प्रशासन लोगों को इससे निजात दिलाने में नाकाम साबित हो रहा है। लोगों को अभी भी ऑटो यूनियन द्वारा अपने स्तर पर बढ़ाया गया किराया देना पड़ रहा है। इसके अलावा ऑटो वाले ओवरलोडिंग भी कर रहे हैं। सोमवार के बाद ऑटो वालों पर प्रशासन द्वारा कड़ा शिकंजा कसने की उम्मीद है। ऑटो यूनियन की मनमानी को रोकने के लिए प्रशासन विभिन्न रूटों पर एच.आर.टी.सी. की बसें भी चला सकता है। एक बार पहले भी ऑटो यूनियन की हड़ताल के दौरान प्रशासन ने कुछ निजी बसों को मात्र 5 रुपए किराए पर शहर के विभिन्न रूटों पर चला दिया था। दूसरी ओर क्षेत्रीय परिवहन विभाग का दावा है कि ऑटो वालों पर विभाग की कड़ी नजर है। अब तक ऑटो वालों के 27 चालान किए गए हैं। इनमें ओवरलोडिंग और सबलैटिंग सहित अन्य उल्लंघन पाए गए हैं। इसके अलावा बसों की ओवरलोडिंग को लेकर भी विभाग शिकंजा कस रहा है।

अधिकारियों के बच्चे करते हैं सरकारी वाहनों का प्रयोग

जिला प्रशासन के अधिकारी सोलन में ऑटो यूनियन द्वारा बढ़ाए गए किराए के कारण आम लोगों पर पड़ रहे आॢथक बोझ का दर्द नहीं समझ पा रहे हैं, क्योंकि अधिकतर अधिकारियों के बच्चे स्कूल आने-जाने के लिए सरकारी वाहनों का प्रयोग करते हैं। स्कूलों की छुट्टी व सुबह के समय अधिकारियों के वाहनों को स्कूलों के बाहर देखा जा सकता है। वहीं दूसरी ओर बढ़े हुए किराए का सबसे ज्यादा असर उन लोगों पर पड़ रहा है, जो रोज ऑटो के माध्यम से इधर-उधर आते-जाते हैं। किराया बढ़ाने के कारण उनकी जेबें ढीली हो रही हैं। क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी सुरेश सिंघा ने बताया कि ऑटो वालों द्वारा की जा रही ओवरलो डिंग को लेकर विभाग ने पिछले कुछ दिनों में 27 चालान किए हैं। उन्होंने कहा कि प्रशासन ने ऑटो किराया बढ़ाने के लिए कोई स्वीकृति नहीं दी है।

सोमवार से होगी ज्यादा दिक्कत

लोगों को सोमवार के बाद ऑटो यूनियन के बढ़े हुए किराए और निजी बसों में अधिक सवारियां न उठाने के मामले पर ज्यादा दिक्कत हो सकती है। पिछले एक सप्ताह से सोलन के स्कूलों में छुट्टियां थीं और कालेज भी बंद थे। सोमवार से सोलन में स्कूल व कालेज खुल रहे हैं। ऐसे में बच्चे स्कूल व कालेज आने-जाने के लिए बसों या फिर ऑटो का प्रयोग करते हैं। ऐसे में बढ़ा हुआ किराया और बसों में निर्धारित यात्रियों से ज्यादा सवारियां न बिठाने का खमियाजा लोगों को भुगतना पड़ सकता है।
 

kirti