4 साल बाद महाघोटाले में कंपनी के CMD समेत 3 निदेशकों पर दर्ज हुई FIR (Watch Video)

Tuesday, Mar 13, 2018 - 09:39 AM (IST)

नाहन: हिमाचल प्रदेश का बहुचर्चित इंडियन टैक्नोमैक उद्योग का महाघोटाला खूब चर्चा में है। सिरमौर के पांवटा साहिब के माजरा में स्थित इंडियन टेक्नोमैक औद्योगिक इकाई में अब तक आंके गए 6,000 करोड़ के घोटाले में देर रात पुलिस ने आबकारी एवं कराधान विभाग की शिकायत पर आखिरकार एफआईआर दर्ज कर ली गई। पुलिस ने कंपनी प्रबंधन के सी.एम.डी. समेत 3 निदेशकों को आरोपी नामजद करते हुए उनके खिलाफ मामला दर्ज किया है। बताया जाता है कि सी.आई.डी. में भी पहले से ही कुछ एफ.आई.आर. कंपनी के निदेशकों के खिलाफ दर्ज हुई है। 


उल्लेखनीय है कि पुलिस ने यह कार्रवाई आबकारी एवं कराधान विभाग द्वारा 14 पन्नों की सौंपी गई शिकायत के आधार पर की है। विभाग ने यह कार्रवाई मुख्यमंत्री द्वारा सोमवार को इस मामले में सरकार की ओर से पक्ष रखने से पहले की है और बीती रात ही 6,000 करोड़ रुपए के घोटाले में फंसी कंपनी के निदेशकों के खिलाफ एफ.आई.आर. दर्ज करवा दी। पुलिस के अनुसार विभाग की शिकायत पर कंपनी के सी.एम.डी. राकेश शर्मा, पूर्व आई.एस. अधिकारी के बेटे कंपनी के निदेशक विनय शर्मा, रंगनाथन श्रीनिवासन व अश्विनी कुमार के खिलाफ भा.द.सं. की धारा 420, 467, 468, 470 एवं 31 व 34 के तहत मामला दर्ज किया है। 


इस घोटाले में 21.75 करोड़ सेल टैक्स, 1,000 करोड़ के करीब आयकर व अढ़ाई हजार करोड़ रुपए बैंकों का ऋण शामिल है जोकि निदेशकों ने हड़पा बताया जाता है। इंडियन टैक्नोमैक कंपनी के खिलाफ बीती रात माजरा पुलिस थाना में धोखाधड़ी का मामला दर्ज करवाया गया है। कंपनी के सी.एम.डी. समेत अन्य 3 निदेशकों के खिलाफ 14 पन्नों की शिकायत सौंपी गई है। अब इस मामले में पुलिस कार्रवाई करेगी। इस पूरे मामले के जांच अधिकारी रहे जीडी ठाकुर ने और भी कई खुलासे किए हैं। उन्होंने कहा कि 2014 में जब यह मामला सामने आया तो जांच को लेकर उनपर कई बार दबाव भी बनाए गए और बीच में उनका जब तबादला हुआ तो यहां रहे अधिकारियों ने मामले में कोई रूचि नहीं दिखाई और उसे ठंडे बस्ते में डाल दिया। बता दें कि जीडी ठाकुर ने ही इस मामले को उठाया और अंजाम तक पहुंचाया है।