अब कारगिल पहुंचना होगा आसान, शिंकुला दर्रे पर बनने जा रही इतनी लम्बी सुरंग

Thursday, Jul 26, 2018 - 10:44 PM (IST)

मनाली: शिंकुला दर्रे से होकर पाकिस्तान की सीमा तक पहुंचना अब और आसान हो जाएगा। सीमा सड़क संगठन (बी.आर.ओ.) शिंकुला दर्रा में सुरंग बनाएगा। सब कुछ ठीक रहा तो 2 साल के भीतर सुरंग निर्माण का कार्य शुरू कर दिया जाएगा। बता दें कि हिमाचल को जम्मू-कश्मीर से जोडऩे वाले 16 हजार फुट ऊंचे शिंकुला दर्रे में 3 किलोमीटर सुरंग बनाई जाएगी। हिमालय के सबसे ऊंचे दर्रे पर बनने वाली इस सुरंग की अनुमानित लागत 1500 करोड़ बताई गई है। बी.आर.ओ. ने हालांकि शिंकुला दर्रे को सड़क से जोड़ दिया है तथा शिंकुला से कारगिल के लिए भी सड़क निर्माण शुरू कर रखा है लेकिन सुरंग के बनने से सर्दियों में भी वाहनों की आवाजाही हो सकेगी।


नितिन गडकरी करेंगे शिंकुला दर्रे का दौरा
मनाली के एकदिवसीय दौरे के दौरान केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी शुक्रवार को शिंकुला दर्रे का भी दौरा करेंगे। बता दें कि इस समय कारगिल पहुंचने के लिए मनाली से केलांग-दारचा-बारालाचा और सरचू होते हुए जाना पड़ता है लेकिन सुरंग के बनने से मनाली से केलांग-दारचा-शिंकुला होते हुए सीधे कारगिल के पहले गांव करग्ये पहुंच सकेंगे।  बी.आर.ओ. की मानें तो सुरंग निर्माण की औपचारिकताओं में 2 साल का समय लगेगा। औपचारिकताएं पूरी होते ही काम शुरू कर दिया जाएगा।


70 वर्षीय छुटलिंग को जाता है सड़क निर्माण का श्रेय
कारगिल के लोगों का हिमाचल के कुल्लू-मनाली से गहरा संबंध रहा है। सदियों से कारगिल के लोग शिंकुला होते हुए केलांग व कुल्लू-मनाली पहुंचते हैं। कारगिल के 70 वर्षीय लामा छुटलिंग छोंजर ने शिंकुला जोत को सड़क से जोडऩे का सपना देखा और काम भी शुरू किया। 12 साल की कड़ी मेहनत के बाद पहाड़ काटकर शिंकुला तक जीप व ट्रैक्टर योग्य सड़क बना डाली। बी.आर.ओ. ने इस बुजुर्ग द्वारा बनाई सड़क के हिसाब से ही शिंकुला तक वाहन योग्य सड़क बनाई।

Vijay