जब बेटी ने दी पिता को मुखाग्नि......

Tuesday, Nov 24, 2015 - 12:18 AM (IST)

बरठीं : पुरानी परंपराओं और रीति रिवाजों को दरकिनार करते हुए मनोहर धीमान की 17 वर्षीय बेटी पूनम ने अपने पिता को मुखाग्नि दी। जानकारी के अनुसार विकास खंड झंडूता के तहत आने वाली ग्राम पंचायत बलोह के गांव डोल लसावा के 75 वर्षीय मनोहर धीमान की हृदय गति रुक जाने से मौत हो गई।

 

मनोहर धीमान अति निर्धन परिवार से संबंधित था और सिलाई-कढ़ाई करके परिवार का गुजर-बसर कर रहा था। मनोहर की 12 बेटियां हैं तथा पुत्र नहीं है। 12 बेटियों में से 10 की शादी हो चुकी है तथा 2 बेटियों की अभी तक शादी नहीं हुई है। मनोहर धीमान के कोई भी पुत्र न होने के कारण लड़की ने अपने पिता को मुखाग्नि दी। लोगों में पंचायत उपप्रधान परमजीत धीमान, पूर्व बीडीटीएस बरमाणा के महासचिव राजपाल गौतम, पूर्व बीडीसी सदस्य प्यार सिंह, रामचंद, विधि चंद, सोहन लाल, राजकुमार व कश्मीर सिंह आदि ने सरकार से इस गरीब परिवार की आॢथक सहायता करने की मांग की है।

 

उधर, दूसरी तरफ बेटी ने दी मां को मुखाग्रि बेटा-बेटी एक समान और बेटी है अनमोल के इन पावन स्लोग्नों को मूल रूप देते हुए चरित्रार्थ कर दिखाया है गग्गल की उस होनहार बहादुर बेटी शिवाली राणा (32) ने जिसने आज अपनी माता बिमला राणा (60) को मुखाग्रि देकर बेटे का धर्म और कर्म निभाया।

 

उल्लेखनीय है कि मा-बाप की इकलौती संतान शिवाली के पिता रुमेल सिंह राणा का लगभग 20 वर्ष पहले सऊदी अरब के कुवैत में निधन हो गया था। इस अवसर पर आज विमला राणा के अंतिम संस्कार में शामिल अन्य महिलाओं ने भी अंतिम दाह संस्कार में लकड़ी डाली।