हिमाचल में महंगी हो सकती है बिजली, जानिए क्या है वजह

punjabkesari.in Saturday, Jan 13, 2018 - 11:01 PM (IST)

शिमला: सूबे की नई सरकार विद्युत उपभोक्ताओं को झटका दे सकती है। विद्युत बोर्ड ने अपने घाटे को कम करने के लिए विद्युत नियामक आयोग से बिजली के दाम बढ़ाने को कहा है। इससे 23 लाख घरेलू और व्यवसायिक उपभोक्ताओं को महंगी बिजली का करंट लगेगा। इसे लेकर राज्य विद्युत बोर्ड ने हिमाचल प्रदेश विद्युत नियामक आयोग में पिटीशन दायर कर दी है। बिजली बोर्ड ने आय कम और खर्च ज्यादा होने का तर्क देकर टैरिफ में बढ़ौतरी की मांग की है। इसे लेकर नियामक आयोग ने आगामी 5 मार्च को पब्लिक हीयरिंग रखी है। विद्युत बोर्ड की मानें तो वार्षिक खर्च 5532 करोड़ है जबकि बोर्ड की कमाई 4511 करोड़ की है। 

नियामक आयोग ने नहीं बढ़ाईं थीं बिजली की दरें
बता दें कि वर्ष 2017 में नियामक आयोग ने बिजली की दरें नहीं बढ़ाईं थीं। आयोग ने वर्ष 2016-17 के स्लैब को ही 2017-18 में भी लागू रखा। प्रदेश में अभी 0-60 यूनिट तक बिजली की दर 2.85 पैसे है। राज्य सरकार ने पिछले साल बिजली बोर्ड के खर्चों को पूरा करने के लिए बेल-आऊट पैकेज भी दिया था। बावजूद इसके भी बोर्ड की वित्तीय स्थिति में सुधार नहीं हो पाया। 

भारी बर्फबारी से बिजली बोर्ड को हुआ करोड़ों का नुक्सान
बिजली बोर्ड ने पिटीशन में बताया है कि पिछले साल हुई भारी बर्फबारी से बिजली की लाइनें अस्त-व्यस्त हो गईं, जिन्हें नए सिरे से बिछाना पड़ा। इससे बोर्ड को करोड़ों का नुक्सान हुआ। प्रदेश की भौगोलिक परिस्थिति के चलते कई क्षेत्रों में बिजली पहुंचाना काफी महंगा पड़ता है। ट्रांसमिशन लॉस ज्यादा बताया जा रहा है।


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